वैज्ञानिकों को मिला फंगस का 65.3 करोड़ साल पुराना जीवाश्म, खुल सकते हैं हिमयुग के बाद जीवन विकास का राज
रिसर्चर्स ने कहा है कि इडियाकरन पीरियड के दौरान ये जीवाश्म बने थे जब ग्रह हिमयुग से बाहर आ रहा था और
जनता से रिश्ता वेबडेस्क। रिसर्चर्स ने कहा है कि इडियाकरन पीरियड के दौरान ये जीवाश्म बने थे जब ग्रह हिमयुग (Ice age) से बाहर आ रहा था और इस दौरान सूक्ष्मजीवियों ने अहम भूमिका निभाई होगी। इन्होंने केमिकल बनावट को तेज किया होगा और फॉस्फोरस को समुद्र तक पहुंचाया होगा जिससे जलजीवों की उत्पादकता बढ़ी होगी।
मिल सकते हैं कई जवाब
चीन से मिली चट्टान के अंदर यह खोज 'अचानक' की गई है। माना जा रहा है कि अगर यह वाकई इतना पुराना जीवाश्म है, तो इससे प्राचीनकाल में जलवायु परिवर्तन और धरती पर जीवन के बारे में बड़े सवालों के जवाब दे सकेगा। इस जीवाश्म में कई ब्रांच हैं, मुड़े हुए फिलामेंट और सीढ़ियों जैसा ब्रांचिंग सिस्टम है। जब धरती पर हिमयुग आया तो महासागर की सतह एक मील तक जम गई और पर्यावरण इतना मुश्किल हो गया कि जीव नहीं रह सके।
धरती इससे बाहर आ गई और पहले से ज्यादा जटिल बायोस्फीयर बनने लगा जो वैज्ञानिकों के लिए एक पहेली बन गया। वैज्ञानिकों का मानना है कि फंगस जैसे सूक्ष्मजीवी एंजाइम (enzyme) चट्टानों को तोड़कर अहम पोषक तत्वों को साइकल कर सकते हैं। फंगस पौधों की जड़ों में रहते हैं जहां से वह फॉस्फोरस जैसे मिनरल को मोबिलाइज करते हैं।