यूएफओ को लेकर नासा ने दिया बड़ा बयान, एलियंस मौजूद

Update: 2023-09-16 13:42 GMT
 
वॉशिंगटन । नासा प्रमुख बिल नेल्सन ने कहा है कि उन्हें लगता है कि धरती के बाहरी वातावरण में एलियंस मौजूद हैं। अंतरिक्ष एजेंसी ने अज्ञात असामान्य घटना (यूएपी) या फिर यूएफओ पर अपनी रिपोर्ट के पहले निष्कर्ष जारी किए। इसके बाद नेल्सन ने यह बात कही है। साथ ही ऐलान किया है कि इस पूरे तथ्य की जांच के लिए यूएपी रिसर्च डायरेक्टर की नियुक्ति कर रहे हैं। इस नियुक्ति की सिफारिश एक स्वतंत्र रिसर्च टीम की तरफ से की गई थी। हालांकि, रिपोर्ट में कहा गया है कि यूएफओ की उच्च-गुणवत्ता से जुड़ी खास बातों की सीमित संख्या की वजह से उनकी प्रकृति के बारे में ठोस वैज्ञानिक निष्कर्ष निकालना असंभव है।
यूएफओ की स्वतंत्र अध्ययन टीम, कई क्षेत्रों के 16 सामुदायिक विशेषज्ञों को शामिल किया गया है। रिपोर्ट में कहा गया है कि यूएफओ अमेरिकी हवाई क्षेत्र की सुरक्षा के लिए खतरा है और यह बात अपने आप साबित हो चुकी है। रिपोर्ट की मानें तब यूएफओ का रिसर्च एक असाधारण वैज्ञानिक मौका पेश करता है। यह मौका एक व्यवस्थित रिपोर्टिंग ढांचे के साथ-साथ एक सख्त, सबूत आधारित दृष्टिकोण का आधारत तैयार करता है। हालांकि इसमें सार्वजनिक भागीदारी के साथ-साथ क्राउडसोर्सिंग और रिपोर्टिंग पर नजर रखना बहुत जरूरी है। रिपोर्ट में कहा गया है कि इन दुर्लभ घटनाओं की पहचान के लिए आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस (एआई) और मशीन लर्निंग (एमएल) सबसे जरूरी उपकरण हैं।
नासा की ओर से कहा गया है कि एजेंसी ने बेहतर ढंग से समझने के लिए स्वतंत्र अध्ययन शुरू किया है। इसके तहत पता लगाया जाएगा कि यह आकाश में होने वाली घटनाओं के रिसर्च को आगे बढ़ाने के लिए चल रहे सरकारी प्रयासों में कैसे योगदान कर सकता है। ये ऐसी घटनाएं हैं जिन्हें गुब्बारे, विमान, या ज्ञात प्राकृतिक घटनाओं के रूप में पहचाना नहीं जा सकता है और इनके लिए एक वैज्ञानिक दृष्टिकोण जरूरी है। रिपोर्ट के आखिरी पन्ने में कहा गया है कि निष्कर्ष की कोई वजह नहीं है जो यह कहती हो कि नासा ने जिन सैकड़ों यूएफओ की बात कही है, उनके पीछे कोई अलौकिक शक्ति है। रिपोर्ट में कहा गया है कि उन रहस्यमय चीज सौर मंडल से होकर यहां तक पहुंची है। नासा की साइंस मिशन डायरेक्टोरेट से जुड़ी निकोला फॉक्स की मानें तब यूएफओ पृथ्वी ग्रह के सबसे बड़े रहस्यों में से एक है। इसकी मुख्य वजह उच्च गुणवत्ता वाले डेटा की कमी होना है।
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