आचार्य चाणक्य ने अपने ग्रंथ नीति शास्त्र में जीवन से जुड़े तमाम पहलुओं का जिक्र किया है। आचार्य चाणक्य ने धन, तरक्की, विवाह, कारोबार, शत्रु और मित्रता समेत कई चीजों के बारे में विस्तार से बताया है। अपनी नीतियों के कारण ही चाणक्य एक साधारण बालक चंद्रगुप्त मौर्य को मौर्य वंश का सम्राट बनाने में सफल हुए थे। एक श्लोक के जरिए आचार्य चाणक्य ने बताया है कि किन दो तरह के लोगों को जीवन में कभी सफलता हासिल नहीं होती है।
चाणक्य कहते हैं कि जीवन में दो तरह के व्यक्ति असफल होते हैं। एक जो सोचते हैं पर उसे करते नहीं और दूसरे जो करते हैं पर सोचते नहीं हैं।
जीवन में कई लोग ऐसे टकराते हैं जो बिना विचार और रणनीति बनाएं ही अपने लक्ष्य प्राप्ति की दिशा में काम करते हैं। लेकिन ऐसे लोगों को बार-बार असफलता का सामना करना पड़ता है। क्योंकि उनकी मेहनत सही दिशा में नहीं नहीं की जाती है। जिस तरह से दीमक हमेशा मेहनत करता है लेकिन वह निर्माण की बजाए चीजें नष्ट करता है।
चाणक्य कहते हैं कि अगर जीवन में सफलता प्राप्त करनी है तो सबसे पहले लक्ष्य का तय करना जरूरी है। लक्ष्य तय होने के बाद उसे प्राप्त करने के लिए रणनीति बनाएं। उसके अच्छे और बुरे परिणामों पर विचार करें। ताकि लक्ष्य प्राप्ति के दौरान रास्ते में आने वाली बाधाओं का सामना आप डटकर कर सकें।