इन फेमस गणपति मंदिरों में दर्शन मात्र से पूरी होती है भक्तों की मनोकामना
धर्म अध्यात्म: हिंदू धर्म में भगवान गणेश सबसे पूजनीय भगवान हैं। भगवान श्रीगणेश को रिद्धि-सिद्धि और बुद्धि का देवता कहा जाता है। इसके अलावा भगवान गणेश को प्रथम पूज्य देवता माना जाता है। जब भी कोई शुभ काम किया जाता है, तो सबसे पहले भगवान गणेश की पूजा की जाती है। गणेश चतुर्थी को भी भगवान गणेश की खास तरीके से पूजा-अर्चना की जाती है।
गणपति उत्सव महाराष्ट्र का सबसे बड़ा उत्सव होता है। यह उत्सव गणेश चतुर्थी के दिन शुरू होकर 10 दिनों तक चलता है। आखिरी दिन गणपति विसर्जन होता है। आज इस आर्टिकल के जरिए हम आपको गणेश मंदिरों के बारे में बताने जा रहे हैं। इन मंदिरों में दर्शन करने से भक्तों की हर मनोकामना पूरी हो जाती है।
सिद्धि विनायक मंदिर
मुंबई में फेमस सिद्धि विनायक मंदिर गणपति मंदिरों में प्रमुख है। इस मंदिर में सामान्य लोग और फेमस हस्तियां दर्शन के पहुंचती हैं। इस मंदिर की स्थापना साल 1801 में हुई थी। बता दें कि यहां के गणपति को नवसाचा गणपति के नाम से भी जानते हैं। इसका अर्थ है कि अगर आप सच्चे मन में गणपति से कुछ मांगते हैं, तो आपकी हर इच्छा पूरी होगी।
दगडूशेठ हलवाई गणपति मंदिर
इस मंदिर में भगवान गणेश की 7.5 फीट लंबी और 4 फीट चौड़ी मूर्ति है। श्रीगणेश की मूर्ति को सोने के गहनों से सजाया गया है। पूणे में स्थित इस मंदिर के पीछे एक कहानी प्रचलित है। कहा जाता है कि दगडूशेठ गडवे मिठाई बेचा करते थे। उन्होंने महामारी के दौरान अपने बेटे को खो दिया था। बेटे को खोने के बाद उन्होंने भगवान गणेश के इस मंदिर को बनवाने का फैसला किया था।
खजराना गणेश मंदिर
मध्य प्रदेश के इंदौर शहर में प्राचीन खजराना गणेश मंदिर स्थित है। इस मंदिर में दर्शन के लिए ना सिर्फ देश बल्कि विदेशों से भी भक्त पहुंचते हैं। इस मंदिर में भगवान गणेश की 3 फीट ऊंची मूर्ति है। साल 1735 में इस मंदिर का निर्माण होल्कर वंश की रानी महारानी अहिल्याबाई होल्कर ने करवाया था।
श्री चिंतामन गणेश मंदिर
मध्यप्रदेश के तीर्थ शहर उज्जैन में श्री चिंतामन गणेश मंदिर। उज्जैन को भगवान महाकालेश्वर के निवास के रूप में जाना जाता है। बता दें कि मंदिर के गर्भगृह में प्रवेश करने पर आपको भगवान गणेश की तीन प्रतिमा दिखाई देती हैं। जिनमें से पहले चिंतामन, दूसरे इच्छामन और तीसरी मूर्ति सिद्धिविनायक गणेश की है।
रणथंभौर गणेश मंदिर
रणथंभौर गणेश मंदिर भारत का सबसे पुराना गणेश मंदिर कहा जाता है। बता दें कि 1300 ई. में राजस्थान के रणथंभौर किले में चौहान वंश के राजा हमीरदेव ने इस मंदिर का निर्माण करवाया था। यह मंदिर त्रिनेत्र गणपति मंदिर के नाम से फेमस है।
डोड्डा गणपति मंदिर
कर्नाटक के दक्षिण बेंगलुरु क्षेत्र में बसवनगुडी में डोड्डा गणपति मंदिर स्थित है। कन्नड़ भाषा में डोजा का अर्थ बड़ा होता है। इस मंदिर में भगवान गणेश की 18 फीट लंबी और 16 फीट चौड़ी मूर्ति है।