नई दिल्ली: आचार्य चाणक्य कुशाग्र बुद्धि के श्रेष्ठ विद्वान और महान विभूति थे। ये कूटनीति और राजनीति में कुशल होने के साथ ही अर्थशास्त्र के प्रकांड पंडित थे। इसी कारण ये विष्णु गुप्त और कौटिल्य के नाम से भी विख्यात थे। ये मौर्य साम्राज्य के संस्थापक थे। इन्होंने अपनी बुद्धिमत्ता और नीतियों के बल पर ही इतिहास की धारा को बदल कर रख दिया था। विपरीत से विपरीत परिस्थितियों का सामना करने के बाद भी इन्होंने हार नहीं मानी और अपना धैर्य बनाए रखा। अपने धैर्य और बुद्धि से ही इन्होंने अपने शत्रु घनानंद का नाश करके चंद्रगुप्त को गद्दी पर बिठाया। इनके द्वारा कई महत्वपूर्ण ग्रंथ लिखे गए। अपने जीवन के अनुभव और गहन अध्ययन को इन्होंने मानव हित के लिए निस्वार्थ भाव ग्रंथों के रुप में पिरोया है। इन्हीं में से नीतिशास्त्र की बातें मनुष्य के जीवन के विभिन्न पहुलुओं पर प्रकाश डालती हैं। यही कारण है कि नीतिशास्त्र की बातें आज भी लोगों के बीच प्रासंगिक हैं। नीति शास्त्र में निजी जीवन से लेकर आर्थिक और सामाजिक जीवन तक महत्वपूर्ण सुझाव दिए गए हैं। आचार्य चाणक्य ने अपने नीति शास्त्र में जीवन की बहुत सी समस्याओं का हल बताया है। साथ ही उन्होंने उन नीतियों का जिक्र भी किया है जो मनुष्य को सुखद जीवन जीने में मदद कर सकती हैं। चाणक्य नीतियों का पालन करने वाले व्यक्ति के लिए जीवन की कठिनाइयों को पार करना आसान हो जाता है। इसी नीति शास्त्र में चाणक्य ने घर के मुखिया के लिए कुछ ऐसी बातों का वर्णन किया है जो उसे कभी नहीं भूलनी चाहिए। आइए जानते हैं क्या हैं वो बातें-