धन कुबेर को प्रसन्न करने के लिए इस पेड़ को करें जल अर्पित
हिंदू धर्म में देवी-देवताओं के साथ-साथ पेड़-पौधों की भी पूजा का विधान है
हिंदू धर्म में देवी-देवताओं के साथ-साथ पेड़-पौधों की भी पूजा का विधान है. ये परंपरा सदियों पुरानी है. बहुत से पेड़ ऐसे होते हैं जिनमें देवी-देवताओं का वास होता है. इनमें पीपल, बरगद, तुलसी, बेल, केले का वृक्ष, अशोक, शमी आदि के वृक्षों में देवताओं का वास होने के कारण इन्हें पूजनीय स्थान प्राप्त है. इन सब के अलावा गूलर का वृक्ष भी पूजनीय है. मान्यता है कि गूलर के पेड़ का संबंध धन के देवता कुबेर से और शुक्र ग्रह से होता है.
ऐसी मान्यता है कि अगर गूलर के पेड़ को नियमित रूप से पूजा जाए और जल अर्पित किया जाए, तो शुक्र ग्रह की विशेष कृपा प्राप्त होती है. साथ ही, ऐसा करने से धन कुबरे का आशीर्वाद भी प्राप्त होता है. इसकी पूजा से व्यक्ति को आर्थिक तंगी से छुटकारा मिलता है. आइए जानते हैं गूलर से जुड़े इन उपायों के बारे में.
कुबेर देव से है गूलर के पेड़ का संबंध
ज्योतिष शास्त्र में गूलर के फूलों का संबंध धन कुबरे से माना गया है. इसे लेकर कई बाते आज भी लोगों के बीच प्रचलित हैं. कहा जाता है कि गूलर के फूल को आजतक कोई नहीं देख पाया है. मान्यता है कि गूलर के फूल रात में खिलते हैं और सीधा स्वर्ग चले जाते हैं.
गूलर के फूल जमीन पर नहीं गिरते. वहीं, ऐसी भी मान्यता है कि गूलर के फूल धन कुबरे की संपदा है. धार्मिक दृष्टि से देखा जाए तो गूलर के वृक्ष का विशेष महत्व बताया गया है. शास्त्रों के अनुसार किसी भी माह के शुक्ल पक्ष के शुक्रवार के दिन गूलर का पौधा लगाना शुभ माना गया है. अगर नियमित रूप से इसे जल अर्पित किया जाए, तो इससे शुक्र मजबूत होता है और व्यक्ति को आर्थिक समस्याओं से छुटकारा मिलता है. साथ ही धन कुबेर की कृपा बरसती है.
ज्योतिष शास्त्र का मानना है कि शुक्र ग्रह विलासिता और सुख साधनों का कारक ग्रह है. दरिद्रता दूर करने और भौतिक सुख पाने के लिए भी गूलर के पौधे के उपाय कारगार हैं.
मान्यता है कि शुक्रवार के दिन पड़ने वाली अमावस्या को गूलर के वृक्ष में चावल की खीर रखें और वृक्ष को भोग लगाने से भौतिक सुखों की प्राप्ति होती है. इस बात का ध्यान रखें कि भोग लगाने के बाद खीर खुद खाएं और दूसरों को भी खिलाएं.
लव मैरिज या घर खरीदने के लिए
किसी भी माह के शुक्ल पक्ष के शुक्रवार के दिन गूलर की जड़ को निकाल लें और गंगाजल से शुद्ध करें. इसके बाद मन में अपनी मनोकामना कहकर चांदी के ताबीज में इसे धारण करने से ही कुछ दिनों में ही सकारात्मक परिणाम सामने आते हैं. अगर आप लव मैरिज या फिर घर या जमीन खरीदना चाहते हैं तो ये उपाय करें.