जानिए हरियाली तीज के पूजन मुहूर्त और मंत्र

अखंड सौभाग्य और सुखी दांपत्य जीवन प्रदान करने वाली हरियाली तीज (Hariyali Teej) व्रत आज 31 जुलाई रविवार को मनाई जा रही है.

Update: 2022-07-31 04:58 GMT

जनता से रिश्ता वेबडेस्क।  अखंड सौभाग्य और सुखी दांपत्य जीवन प्रदान करने वाली हरियाली तीज (Hariyali Teej) व्रत आज 31 जुलाई रविवार को मनाई जा रही है. इस साल की हरियाली तीज रवि योग में है. रवि योग अमंगल को दूर करके शुभ फल प्रदान करने वाला माना जाता है. इस योग में सूर्य देव का प्रभाव अधिक होता है. सुहागन महिलाएं और विवाह योग्य युवतियां हरियाली तीज का निर्जला व्रत रखती हैं. इस दिन माता पार्वती के साथ भगवान शिव और प्रथम पूज्य श्री गणेश जी की पूजा की जाती है. काशी के ज्योतिषाचार्य चक्रपाणि भट्ट के अनुसार, भगवान शिव जैसे मनाचाहे वर को प्राप्त करने वाली माता पार्वती के समान अखंड सौभाग्य पाने की कामना से यह व्रत रखा जाता है. यह व्रत निर्जला होने के कारण कठिन होता है. आइए जानते हैं हरियाली तीज के पूजन मुहूर्त, मंत्र और पूजा विधि के बारे में.

हरियाली तीज 2022 योग और मुहूर्त
हरियाली तीज तिथि का प्रारंभः आज, तड़के 02 बजकर 59 मिनट से
हरियाली तीज तिथि का समापनः कल, प्रातः 04 बजकर 18 मिनट पर
रवि योग का समयः आज, दोपहर 02 बजकर 20 मिनट से कल प्रातः 05 बजकर 42 मिनट तक
दिन का शुभ समयः आज, दोपहर 12:00 बजे से दोपहर 12 बजकर 54 मिनट तक
गणेश पूजा मंत्र
श्री वक्रतुण्ड महाकाय,
सूर्य कोटी समप्रभा,
निर्विघ्नं कुरु मे देव,
सर्व-कार्येशु सर्वदा॥

शिव पूजा मंत्र
ओम नमः शिवाय

माता पार्वती की पूजा का मंत्र
ओम गौरये नमः
ओम पार्वत्यै नमः
ओम उमामहेश्वराभ्यां नमः
हरियाली तीज पूजा विधि
1. व्रत के दिन प्रातःकाल में स्नान आदि से निवृत होकर हरी साड़ी पहनें. उसके बाद श्रृंगार आदि करें. इस दिन मायके से आए कपड़े और श्रृंगार सामग्री का उपयोग करते हैं.

2. फिर हरियाली तीज व्रत और शिव परिवार की पूजा का संकल्प करें. इसके बाद पूजा के शुभ मुहूर्त में भगवान शिव, माता पार्वती और गणेश जी की पूजा विधिपूर्वक करें.

3. सबसे पहले प्रथम पूज्य गणेश जी की पूजा करें. गणेश जी को फूल, चंदन, रोली, कुमकुम, अक्षत्, पान, सुपारी, दूर्वा, धूप, दीप आदि अर्पित करें. इस दौरान गणेश पूजन मंत्र का उच्चारण करते रहें.

3. अब आप भगवान शिव को बेलपत्र, सफेद फूल, भांग, धतूरा, गंगाजल, गाय का दूध, शहद, चंदन, अक्षत्, शक्कर, दीप आदि अर्पित करें. इस दौरान ओम नमः शिवाय मंत्र का जाप करें.

4. अब आप अखंड सौभाग्य की कामना से माता पार्वती की पूजा करें. उनको अक्षत्, लाल फूल, सिंदूर, कुमकुम, हल्दी, मेहदी, महावर, साड़ी, आभूषण, फूलों की माला समेत अन्य सभी श्रृंगार समाग्री चढ़ाएं. धूप, दीप, गंध आदि भी अर्पित करें. इस दौरान पूजा मंत्र पढ़ें. अब आप तीनों को साक्षी मानकर हरियाली तीज व्रत कथा पढ़ें.

5. पूजा का समापन आरती से करें. सबसे पहले गणेश जी, तब शिव जी और सबसे अंत में माता पार्वती की आरती घी के दीपक से विधिपूर्वक करें. इसके बाद प्रार्थना करें कि जो भी आपकी मनोकामना है, उसे पूर्ण करें और सुखी जीवन प्रदान करें.
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