हनुमान जी का नाम बजरंगबली पड़ने के पीछे का पौराणिक कथा ,जानिए

संकटमोचक हनुमान के भक्‍तों की संख्‍या अनगिनत है. हनुमान जी (Hanuman Ji) को समर्पित किए गए मंगलवार को लोग व्रत रखते हैं,

Update: 2022-07-10 10:30 GMT

जनता से रिश्ता वेबडेस्क |   संकटमोचक हनुमान के भक्‍तों की संख्‍या अनगिनत है. हनुमान जी (Hanuman Ji) को समर्पित किए गए मंगलवार को लोग व्रत रखते हैं, उनकी पूजा-अर्चना करते हैं, चोला चढ़ाते हैं. ऐसा करने से हनुमान जी अपने भक्‍तों के सारे संकट दूर करते हैं और उनकी मनोकामनाएं पूरी करते हैं. हनुमान जी के कई नाम हैं, उनमें से एक है बजरंगबली (Bajrangbali). हनुमान जी का नाम बजरंगबली पड़ने के पीछे एक पौराणिक कथा है.

...इसलिए पड़ा बजरंगबली नाम
बल और बुद्धि के देवता रामभक्‍त हनुमान बेहद शक्तिशाली है, उन्‍होंने एक हाथ से पूरा पर्वत उठा लिया था. पुराणों के मुताबिक उनका शरीर वज्र के समान है इसलिए उन्‍हें बजरंगबली कहते हैं. वहीं एक पौराणिक कथा के अनुसार एक बार माता सीता (Mata Sita) को सिंदूर (Sindoor) लगाते देख हनुमान जी ने पूछा कि आप सिंदूर क्‍यों लगाती हैं? तब सीता जी ने कहा कि यह सुहाग का प्रतीक है. अपने पति श्रीराम की लंबी आयु और अच्‍छे स्‍वास्‍थ्‍य के लिए वे अपनी मांग में सिंदूर भरती हैं.
और हनुमान जी ने पूरे शरीर में लगा लिया सिंदूर
हनुमान जी ने माता सीता की बात सुनकर सोचा कि जब केवल मांग में सिंदूर लगाने से भगवान को इतना लाभ होता तो मैं पूरे शरीर में ही सिंदूर लगा लेता हूं, इससे प्रभु श्रीराम अमर हो जाएंगे. हनुमान जी को पूरे शरीर में सिंदूर लगाए देखकर श्रीराम इसकी वजह पूछते हैं और फिर कारण जानकर उनकी भक्ति से बहुत प्रसन्‍न होते हैं. तब वे हनुमान जी से कहते हैं कि आज से आपका नाम बजरंगबली भी होगा. बजरंगबली दो शब्‍दों बजरंग (केसरी) और बली (शक्तिशाली) से मिलकर बना है. तब से ही रामभक्‍त हनुमान को सिंदूर चढ़ाने की प्रथा है, इससे वे बहुत प्रसन्‍न होते हैं.


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