आज करेंगे भगवान विष्णु की आरती, तो दूर होंगी सारी बाधाएं

Update: 2023-07-20 06:56 GMT
हिंदू धर्म में हफ्ते का हर दिन किसी न किसी देवी देवता की पूजा अर्चना को समर्पित होता हैं। वही गुरुवार का दिन जगत के पालनहार भगवान विष्णु की पूजा के लिए खास माना जाता हैं इस दिन भक्त भगवान विष्णु को प्रसन्न करने के लिए उनकी विधि विधान से पूजा करते हैं और दिनभर का उपवास रखते हैं।
 लेकिन इसी के साथ ही अगर आज के दिन पूजा के बाद विष्णु जी की आरती की जाए तो व्रत पूजन का पूर्ण फल प्राप्त होता हैं और जीवन के सभी दुख कष्टों का अंत हो जाता हैं, तो आज हम आपके लिए लेकर आए हैं श्री हरि विष्णु की प्रिय आरती पाठ।
 भगवान विष्णु की आरती—
ओम जय जगदीश हरे, स्वामी! जय जगदीश हरे।
भक्तजनों के संकट क्षण में दूर करे॥
जो ध्यावै फल पावै, दुख बिनसे मन का।
सुख-संपत्ति घर आवै, कष्ट मिटे तन का॥
ओम जय जगदीश हरे...॥
मात-पिता तुम मेरे, शरण गहूं किसकी।
तुम बिन और न दूजा, आस करूं जिसकी॥
ओम जय जगदीश हरे...॥
तुम पूरन परमात्मा, तुम अंतरयामी।
पारब्रह्म परेमश्वर, तुम सबके स्वामी॥
ओम जय जगदीश हरे...॥
तुम करुणा के सागर तुम पालनकर्ता।
मैं मूरख खल कामी, कृपा करो भर्ता॥
ओम जय जगदीश हरे...॥
तुम हो एक अगोचर, सबके प्राणपति।
किस विधि मिलूं दयामय! तुमको मैं कुमति॥
 ओम जय जगदीश हरे...॥
दीनबंधु दुखहर्ता, तुम ठाकुर मेरे।
अपने हाथ उठाओ, द्वार पड़ा तेरे॥
ओम जय जगदीश हरे...॥
विषय विकार मिटाओ, पाप हरो देवा।
श्रद्धा-भक्ति बढ़ाओ, संतन की सेवा॥
ओम जय जगदीश हरे...॥
तन-मन-धन और संपत्ति, सब कुछ है तेरा।
तेरा तुझको अर्पण क्या लागे मेरा॥
ओम जय जगदीश हरे...॥
जगदीश्वरजी की आरती जो कोई नर गावे।
कहत शिवानंद स्वामी, मनवांछित फल पावे॥
ओम जय जगदीश हरे...॥
 
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