सूर्य देव के आरोग्य प्रदाता मंत्र का ऐसे करें जाप

सूर्य देव को प्रत्यक्ष देवता माना जाता है। भगवान सूर्य प्रत्येक दिन प्रकट हो कर सारे संसार को अपनी ऊर्जा और शक्ति से आलोकित और संचालित करते हैं

Update: 2021-08-15 07:58 GMT

जनता से रिश्ता वेबडेस्क |   सूर्य देव को प्रत्यक्ष देवता माना जाता है। भगवान सूर्य प्रत्येक दिन प्रकट हो कर सारे संसार को अपनी ऊर्जा और शक्ति से आलोकित और संचालित करते हैं। सूर्यदेव को ग्रहों का राजा या स्वामी माना जाता है। माना जाता है कि आकाश में सभी ग्रह सूर्यदेव के अनुरूप ही संचालित होते हैं। पौराणकि मान्यता के अनुसार रविवार की दिन भगवान सूर्य की पूजा के लिए विशेष रूप से समर्पित है। रविवार के दिन सूर्य की पूजा करने तथा उनको नियमित अर्घ्य प्रदान करने से रोग और ग्रह दोष समाप्त हो जाता है। आज हम आपको भगवान सूर्य का आरोग्य प्रदान करने वाले मंत्र और उसकी जाप की विधि बता रहे हैं....

सूर्य का आरोग्य प्रदाता मंत्र
सूर्य देव के आरोग्य प्रदाता मंत्र का नियमित जाप करने से सभी प्रकार के रोगों से मुक्ति मिलती है। मान्यता है अगर कोई व्यक्ति लम्बे समय से किसी असाध्य रोग से पीड़ित है तो उसे भगवान सूर्य के इस मंत्र का जाप करना चाहिए। इसके साथ ही इस मंत्र का जाप करने से आपके सभी ग्रह दोषों से भी मुक्ति मिलती है। लेकिन इस मंत्र का जाप विधि पूर्वक करना चाहिए। ये है भगवान सूर्य का आरोग्य प्रदाता मंत्र -
ऊँ नम: सूर्याय शान्ताय सर्वरोग निवारिणे।
आयु ररोग्य मैस्वैर्यं देहि देव: जगत्पते।।
मंत्र जाप की विधि –
भगवान सूर्य के आरोग्य मंत्र का जाप प्रातः काल सुबह उठ कर स्नान आदि से निवृत्ति हो कर साफ वस्त्र धारण करें। उगते हुए सूर्य के सामने ध्यान की मुद्रा में बैठना चाहिए। सबसे पहले धीरे-धीरे सांस लेते हुए भगवान सूर्य का स्मरण करें। मंत्र का सही उच्चारण करते हुए रुद्राक्ष या तुलसी की माला से जाप करना चाहिए। मंत्र का जाप करने के बाद भगवान सूर्य को तांबे के लोटे से जल चढ़ाना चाहिए। ऐसा करने से असाध्य रोग में भी शीघ्र स्वास्थ्य लाभ होने लगता है।


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