11 साल बाद सर्वपितृ अमावस्‍या पर बना बेहद शुभ गजछाया योग, जाने ये एक काम दिलाएगा कर्ज से मुक्ति

6 अक्टूबर 2021 को सर्वपितृ अमावस्या पर श्राद्ध करने के लिए बेहद शुभ माना गया गजछाया योग बन रहा है. इस योग के दौरान श्राद्ध करने से पीढ़ियों पुराना कर्ज भी उतर जाता है.

Update: 2022-06-22 00:45 GMT

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। पितृ पक्ष का आखिरी दिन अश्विन महीने की अमावस्या तिथि को होता है. इस अमावस्‍या को सर्वपितृ अमावस्या (Sarva Pitru Amavasya) कहते हैं क्‍योंकि इस दिन उन सभी पितरों का तर्पण-श्राद्ध किया जा सकता है जिनके निधन की तिथि मालूम नहीं होती है. इस साल 6 अक्टूबर, बुधवार को सर्वपितृ अमावस्‍या (Sarva Pitru Amavasya 2021) है.

खास बात यह है कि इस साल सर्वपितृ अमावस्‍या पर ऐसा शुभ योग (Subh Yog) बन रहा है जो कई सालों में बनता है. साल 2021 की सर्वपितृ अमावस्‍या के बाद यह शुभ योग 8 साल बाद 2029 में बनेगा.
बन रहा है गजछाया योग
पितृ पक्ष 2021 की सर्वपितृ अमावस्‍या पर गजछाया योग बन रहा है. इससे पहले यह योग 11 साल पहले 2010 में बना था. 6 अक्‍टूबर को सूर्य और चंद्रमा दोनों ही सूर्योदय से लेकर शाम 04:34 बजे तक हस्त नक्षत्र में होंगे. यह स्थिति गजछाया योग (Gajachhaya Yog) बनाती है. धर्म-शास्‍त्रों के मुताबिक इस योग में श्राद्ध करने से पितृ प्रसन्‍न होते हैं और कर्ज से मुक्ति मिलती है. साथ ही घर में सुख-समृद्धि आती है. कहते हैं कि गजछाया योग में किए गए श्राद्ध और दान से पितरों की अगले 12 सालों के लिए क्षुधा शांत हो जाती है.
गजछाया योग में करें यह काम
श्राद्ध के लिए बेहद शुभ माने गए गजछाया योग में पितरों के लिए श्राद्ध करें और घी मिली हुई खीर का दान करें. ऐसा करने से पितृ कम से कम 12 सालों के लिए तृप्त हो जाते हैं. इसके अलावा इस समय में जरूरतमंदों और ब्राह्मणों को भोजन कराएं. उन्‍हें अन्न-कपड़े दान करें.


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