इन 3 चीजों से व्यक्ति को हमेशा रहना चाहिए दूर, वरना हो जाएंगे बर्बाद

Chanakya Niti

Update: 2021-03-07 11:53 GMT

Chanakya Niti Hindi: चाणक्य को आचार्य चाणक्य भी कहा जाता है. चाणक्य का संबंध विश्व प्रसिद्ध तक्षशिला विश्वविद्यालय से था. चाणक्य ने तक्षशिला विश्वविद्यालय से ही शिक्षा प्राप्त की थी और बाद में वे इसी विश्वविद्यालय में आचार्य बनें, जहां पर उन्होंने विद्यार्थियों को शिक्षा देने का कार्य किया. चाणक्य को विभिन्न विषयों की गहरी जानकारी थी. चाणक्य ने हर विषय का सूक्ष्मता से अध्ययन किया था जो मनुष्य को प्रभावित करता है. चाणक्य ने अपने अध्ययन और अनुभव के आधार पर जाना कि जीवन में यदि सफलता प्राप्त करनी है तो व्यक्ति को कुछ गलत आदतों से सदैव दूर रहना चाहिए.

अहंकार का त्याग करने से जीवन की परेशानियां कम होती हैं
चाणक्य के अनुसार व्यक्ति को कभी किसी भी चीज का अहंकार नहीं करना चाहिए. अहंकार से रहित व्यक्ति सभी का प्रिय होता है. ऐसे व्यक्ति को हर स्थान पर सम्मान प्राप्त होता है और समाज में ऐसे लोगों का अनुकरण किया जाता है. अहंकार व्यक्ति की प्रतिभा का भी नाश करता है. इसलिए जीवन में सफल होना है तो अहंकार से मुक्त रहने का प्रयास करना चाहिए.
अज्ञानता सभी प्रकार के दुखों का कारण है
चाणक्य के अनुसार व्यक्ति को अज्ञानता से मुक्त रहना चाहिए. अज्ञानता हर प्रकार के दुखों का कारण है. इसलिए व्यक्ति को शिक्षा के महत्व को जानना चाहिए. शिक्षा प्राप्त करने के लिए व्यक्ति को सदैव तैयार रहना चाहिए. शिक्षित व्यक्ति स्वयं को तो कल्याण करते ही हैं, दूसरों का भी भला करते हैं. शिक्षा हर प्रकार के दुखों को दूर करती हैं.
लालच से दूर रहें
चाणक्य की चाणक्य नीति कहती है कि लालच से व्यक्ति को दूरी बनाकर रखना चाहिए. लालच कई प्रकार के कष्टों का कारण बनता है. जीवन में मिलने वाली सफलता में लालच बड़ी बाधा भी बनता है. लालच व्यक्ति को अनैतिक कार्यों को करने के लिए भी प्रेरित करता है. इसलिए इससे दूर रहना चाहिए.


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