बेंगलुरु: 'यूनिफॉर्म सिविल कोड' (यूसीसी) और उत्तर प्रदेश के संभल में मस्जिद के सर्वे के दौरान भड़की हिंसा को लेकर ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड (एआईएमपीएलबी) के प्रवक्ता डॉ. सैयद कासिम रसूल इलियास ने सोमवार को आईएएनएस से खास बातचीत की।
'यूनिफॉर्म सिविल कोड' (यूसीसी) को लेकर एआईएमपीएलबी प्रवक्ता इलियास ने कहा कि हमारे देश में संस्कृति और धर्मों की बहुत विविधताएं हैं, यहां पर उसको लागू करना असंभव है। यूसीसी को लेकर बेकार की एक्सरसाइज सरकार को नहीं करनी चाहिए। अगर किसी आदमी का यह ख्याल है कि उसको धार्मिक हिसाब से शादी नहीं करनी है, तो वो नहीं करे।
उन्होंने आगे कहा कि मेरा मानना है कि यूनिफॉर्म सिविल कोड मुसलमानों को छेड़ने के लिए सरकार लाई है। लेकिन इस बार हम उनको समझाएंगे कि यह सिर्फ मुसलमानों का मसला नहीं, बल्कि सिख, बौद्ध, ईसाई, जनजाति और दलितों से जुड़ा हुआ है।
उत्तर प्रदेश के संभल हिंसा पर एआईएमपीएलबी प्रवक्ता ने कहा कि इस हिंसा को सौ प्रतिशत टाला जा सकता था। पुलिस का वर्जन यह है कि लोगों ने दो से तीन सेकेंड के लिए पथराव किया। इस पर उन्होंने लाठीचार्ज और गोली चला दी। पुलिस की ये मानसिकता पैदा हो गई है कि सामने जो भीड़ आ रही है, वो अगर एक सेकेंड के लिए हिंसा करेगी तो हम उस पर गोली चला देंगे। ऐसा सिलसिला बंद होना चाहिए। मेरा मानना है कि प्रशासन और गोली चलाने वाले के खिलाफ कार्रवाई होनी चाहिए। वहीं, मरने वालों के परिवारों को मुआवजा देना चाहिए।