बंदर ने बच्ची को बेरहमी से काटा, पिंजरे में बंद कर जंगल में छाेड़ा
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भाेपाल। शीतलदास की बगिया क्षेत्र में दाे बंदराें ने एक माह से डेरा डाल रखा था।इस दौरान वे लगभग 12 लाेगाें काे काट भी चुके थे। गुरुवार काे एक बंदर ने 10 वर्ष की बालिका काे काट खाया।मामले की शिकायत मिलने पर वन विभाग की बंदर पकड़ने की टीम मौके पर पहुंची। पिंजरे में चने, फल आदि रख दिए। लालच में आकर दाेनाें बंदर पिंजरें में बंद हाे गए। दाेनाें काे शहर से दूर जंगल में छाेड़ दिया गया। इससे लाेगाें ने राहत महसूस की है। शीतलदास की बगिया पर तैनात नगर निगम के गाेताखाेर शेख आसिफ ने बताया कि इस क्षेत्र में एक माह से दाे बंदराें ने आतंक मचा रखा था। वह मंदिर आने वाले श्रद्धालुओं से प्रसाद छीन लेते थे। विराेध करने पर बंदर काट भी लेते थे। इसके अलावा शीतलदास घाट पर घूमने आने वाले लाेग भी बंदराें से आतंकित थे।
एक माह में बंदर 12 लाेगाें काे काट चुके थे। गुरुवार काे भी एक 10 वर्ष की बालिका काे बंदर ने हाथ में काट खाया। इसके बाद घटना की शिकायत वन विभाग से की गई। एसडीओ आरएस भदौरिया ने बताया कि शिकायत मिलने पर बंदर पकड़ने की विशेषज्ञ टीम काे भेजकर वहां पिंजरे रखवा दिए गए थे। खाने के लालच में एक के बाद एक कर दाेनाें बंदर पिजरे में कैद हाे गए। दाेनाें काे शहर से काफी दूर खुले जंगल में छाेड़ दिया गया।। भदौरिया ने बताया कि कतिपय लाेग जंगल में बंदराें काे बिस्कुट, कुरकुरे, चिप्स जैसी चीजें खाने काे देते हैं। इससे वे अपना प्राकृतिक भाेजन छाेड़कर शहर की तरफ रुख करने लगे हैं।इससे इस तरह की समस्या काफी बढ़ गई है।