हमीरपुर के स्कूलों का लर्निंग लेवल सबसे अच्छा, 2024 की ‘असर’ रिपोर्ट में सामने आए आंकड़े

Shimla. शिमला। हिमाचल प्रदेश में हमीरपुर जिला के सरकारी स्कूलों के बच्चों का लर्निंग लेवल अन्य स्कूलों के मुकाबले बेहतर है। असर रिपोर्ट में यह तथ्य सामने आए हैं। इसमें हमीरपुर जिला के स्कूलों बच्चों का लर्निंग लेवल 64.3 है जबकि मंडी जिला के स्कूलों का लर्निंग लेवल सबसे कम 33.0 है। इसके साथ ही चंबा जिला में 49.3, बिलासुपर में 53.9, कांगड़ा में 53.4, किन्नौर में 50.8, कुल्लू का 53.4, मंडी में 33.0, शिमला में 55.5, सिरमौर में 39.0, सोलन में 58.6, ऊना का 63.8 है। गौर रहे कि गुरुवार को ही असर रिपोर्ट के आंकड़े साझा किए गए हैं। भारत सरकार द्वारा अनुबंधित एनुअल स्टेट्स ऑफ एजुकेशन की रिपोर्ट के अनुसार हिमाचल प्रदेश के विद्यार्थियों का रीडिंग लेवल पूरे देश में सबसे बेहतर पाया गया है।
असर रिपोर्ट के अनुसार चंबा, किन्नौर और सोलन को छोडक़र बाकी जिला में 6-14 साल के बच्चों की एनरोलमेंट भी कम है। इसमें चंबा जिला के 1.2 फीसदी स्कूल, किन्नौर जिला के 1.7 फीसदी स्कूल और सोलन जिला के 1.0 फीसदी स्कूलों में बच्चों ने एडमिशन ही नहीं ली हैं। प्रदेश सरकार लगातार एनरोलमेंट को बढ़ाने का लगातार प्रयास कर रही है, लेकिन सरकारी स्कूलों के प्रति अभिभावकों का रुझान कम है। हिमाचल प्रदेश के विद्यार्थियों का रीडिंग लेवल पूरे देश में सबसे बेहतर पाया गया है। भारत सरकार द्वारा असर की रिपोर्ट के अनुसार तीसरी कक्षा के 46.6 प्रतिशत विद्यार्थी आसानी से दूसरी कक्षा की हिंदी की पाठ्यपुस्तक को पढ़ रहे हैं। देश में यह औसत 23.4 फीसदी है। सरकार समय-समय पर टीचरों को ट्रेनिंग दे रही है। टीचरों को ऑनलाइन रीडिंग मैटीरियल भी उपलब्ध करवाया जाता है। समय- समय पर बच्चों की मॉनिटरिंग की जा रही है।