झारखंड के धनबाद जिले में गुरुवार को घर के बाहर अचानक जमीन धंस गई और उसमें एक महिला बड़े गड्ढे में गिर गई। हालांकि उसे उसके बेटे और पड़ोसियों ने मिलकर बचा लिया। केंदुआडीह थाना क्षेत्र के राजपूत बस्ती को खतरनाक क्षेत्र घोषित किया गया है यहां अक्सर भूमिगत गुफाएं और आग की घटनाएं होती रहती हैं।
केंदुआडीह पुलिस थाना प्रभारी बिनोद उरांव ने इस मामले में बताया कि उस महिला का नाम आशा देवी है, वह अपने घर के बाहर काम कर रही थी तभी अचानक सतह धंस गई और लगभग 15 से 20 फीट गहरा गड्डा बन गया। वह गड्डा इतना बड़ा था कि उसमें आशा देवी और नीम का पेड़ दोनों समा गए।
इस दौरान मां को गड्डे में गिरता देख उसका बेटा आनंद सिंह भी उसमें कूद गया और पड़ोसियों की मदद से दोनों को रस्सी और सीढ़ी की मदद से उस गड्डे से बाहर निकाला।
ऐसा पहली बार नहीं है जब ऐसी कोई घटना वहां हुई है, दरअसल भूमिगत आग से प्रभावित राजपूत बस्ती में 500 से अधिक परिवार रहते हैं यहां बुधवार से भारी बारिश के कारण भूस्खलन की पांच घटनाएं हो चुकी हैं।
स्थानीय लोगों ने बताया कि एक व्यक्ति का पोल्ट्री फार्म धंसने से नष्ट हो गया, इस घटना में करीब 300 मुर्गियों की मौत हो गई। घटना के बाद पीबी कोलियरी के महाप्रबंधक पीके मिश्रा बस्ती पहुंचे और निवासियों से बीसीसीएल के क्वार्टर में शिफ्ट होने का अनुरोध किया।
हालांकि महिला के गड्डे में गिरने के बाद निवासियों ने उचित क्वार्टर और मुआवजे की मांग की है। स्थानीय लोगों ने कहा कि बीसीसीएल जब उन्हें जमीन, नौकरी और मुआवजा देगी वे तब ही बस्ती से हटेंगे।