सरपंच का शिक्षक पद पर हुआ चयन, पास किया राज्य लोक सेवा आयोग की परीक्षा

बिहार। सुपौल में भगवानपुर ग्राम पंचायत के मुखिया देवेंद्र दास ने गांव की शिक्षा को सुधारने के लिए शिक्षक बनने का फैसला लिया था, जिसके लिए उन्होंने बिहार लोक सेवा आयोग (BPSC) TRE 2.0 का एग्जाम पास किया और अब वह 10+2 के शिक्षक बन गए हैं. दरअसल, देवेंद्र दास का बिहार लोक सेवा आयोग …

Update: 2024-01-16 01:05 GMT

बिहार। सुपौल में भगवानपुर ग्राम पंचायत के मुखिया देवेंद्र दास ने गांव की शिक्षा को सुधारने के लिए शिक्षक बनने का फैसला लिया था, जिसके लिए उन्होंने बिहार लोक सेवा आयोग (BPSC) TRE 2.0 का एग्जाम पास किया और अब वह 10+2 के शिक्षक बन गए हैं. दरअसल, देवेंद्र दास का बिहार लोक सेवा आयोग द्वारा आयोजित परीक्षा के आधार पर इंटर स्तरीय माध्यमिक विद्यालय में पॉलिटिकल साइंस संकाय में शिक्षक पद पर चयन हुआ है.

13 जनवरी को सुपौल के गांधी मैदान में जिला प्रशासन द्वारा देवेंद्र दास को नियुक्ति पत्र दिया गया था. अब मुखिया जी सहर्ष जिला पंचायती राज पदाधिकारी को इस्तीफा सौंप गुरु जी बनेंगे.

जहां एक तरफ ग्राम पंचायत के मुखिया बनने के लिए लोग लाखों रूपये चुनाव जीतने के लिए पानी की तरह बहा देते हैं. वहीं दूसरी तरफ एक वर्तमान मुखिया अपने तीन साल का कार्यकाल शेष रहने के बावजूद शिक्षा की बदहाली देख अब सरकारी शिक्षक बन गए हैं, इन्होंने बच्चों को बेहतर शिक्षा देने के लिए अपने मुखिया पद का त्याग कर दिया है. अब उन्होंने बतौर प्लस 2 हाई स्कूल के सरकारी टीचर के रूप में नौकरी ज्वाइन कर ली है. इसको लेकर मुखिया से शिक्षक बने देवेंद्र दास बताते हैं कि पहले पंचायत समिति सदस्य और मुखिया रहते स्कूलों के निरीक्षक के दौरान शिक्षा की बदहाली देखकर मन रो पड़ता था. इसको देखते हुए टीचर बनकर अगली पीढ़ी को शिक्षित करने का संकल्प लिया है.

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