अकाली दल ने की करोड़ों रुपये के भर्ती घोटाले की सीबीआई जांच की मांग

Update: 2022-11-16 12:19 GMT
चंडीगढ़ (आईएएनएस)| पंजाब के पूर्व मंत्री और शिरोमणि अकाली दल (एसएडी) के वरिष्ठ नेता बिक्रम सिंह मजीठिया ने करोड़ों रुपये की नायब तहसीलदार भर्ती घोटाले को बेनकाब करने के लिए बुधवार को सीबीआई जांच या उच्च न्यायालय के वर्तमान न्यायाधीश की निगरानी में न्यायिक जांच की मांग की है। पंजाब लोक सेवा आयोग (पीपीएससी) ने परीक्षा प्रक्रिया में गड़बड़ी सामने आने के बाद कुछ लोगों पर कार्रवाई की है। मजीठिया ने बयान में कहा, सतर्कता ब्यूरो द्वारा एकत्र किए गए प्रारंभिक सबूतों से पता चलता हैं कि मूनक और पटरान के दो परीक्षा केंद्रों से उम्मीदवारों के चयन को सुनिश्चित करने के लिए आम आदमी पार्टी (आप) सरकार और पीपीएससी दोनों ने एक बड़ी साजिश की।
उन्होंने कहा- चूंकि ये परीक्षा केंद्र मुख्यमंत्री भगवंत मान के गृह जिले से हैं, इसलिए सतर्कता विभाग आप सरकार के साथ-साथ पीपीएससी की संलिप्तता की जांच नहीं कर पाएगी। उन्होंने कहा, केवल एक स्वतंत्र जांच ही इस घोटाले के सरगनाओं का पदार्फाश और उनकी उचित सजा सुनिश्चित कर सकती है।
मुख्यमंत्री से इस घोटाले की जांच सीबीआई या उच्च न्यायालय के किसी मौजूदा न्यायाधीश को सौंपने की मांग करते हुए मजीठिया ने कहा, 70,000 उम्मीदवार पारदर्शी जांच चाहते हैं। अकाली नेता ने नायब तहसीलदार परीक्षा के लिए आयोजित पूरी भर्ती प्रक्रिया को तत्काल रद्द करने की भी मांग की। उन्होंने उन कर्मचारियों की भूमिका की भी जांच करने की मांग की जिन्होंने राजनीतिक आकाओं के कहने पर इस घोटाले में शामिल थे।
मजीठिया ने यह भी मांग की कि सहकारी समितियों के पशु चिकित्सा अधिकारियों और निरीक्षकों सहित अन्य सभी परीक्षाएं पारदर्शी तरीके से नए सिरे से आयोजित की जाएं। मजीठिया ने आप संयोजक अरविंद केजरीवाल से यह भी बताने को कहा कि वह गुजरात और हिमाचल प्रदेश में किस 'बदलाव' का प्रचार कर रहे हैं।
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