फिर दिखा रूस के राष्ट्रपति पुतिन का भारत प्रेम, दिल खोलकर की तारीफ, बताया महान शक्ति
नई दिल्ली: रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने भारत की दिल खोलकर तारीफ करते हुए उसे एक महान शक्ति बताया है. उन्होंने भारतीय अर्थव्यवस्था, संस्कृति और भविष्य की संभावनाओं की जमकर तारीफ की.
पुतिन ने वल्दाई डिसक्शन क्लब को संबोधित करते हुए भारत की बेहतरीन आर्थिक विकास दर को सराहते हुए कहा कि रूस और भारत के संबंध ऐतिहासिक हैं. दोनों देशों के इतिहास आपसी विश्वास और सहयोग से जुड़ा हुआ है. भारत और रूस का सहयोग रक्षा से लेकर आर्थिक विकास तक लगभग हर क्षेत्र में और प्रगाढ़ हुआ है.
उन्होंने भारत के लगातार बढ़ रहे वैश्विक प्रभुत्व का हवाला देते हुए कहा कि भारत का स्थान दुनिया की महाशक्तियों के बीच है. प्रधानमंत्री मोदी 8 जुलाई को रूस की यात्रा पर गए थे. तब उन्होंने राष्ट्रपति पुतिन को गले लगाया था. मोदी का पुतिन को गले लगाना पश्चिमी देशों को पसंद नहीं आया था. तब अमेरिका ने भारत से ये कहते हुए एक पक्ष को चुनने के लिए कहा था कि वो न्यूट्रल नहीं रह सकता.
रूस यात्रा पर तमाम हंगामे और आलोचनाओं को दरकिनार करते हुए पीएम मोदी ने कहा था कि जब बम और गोलियां बरस रहीं हों तब शांति वार्ता सफल नहीं हो सकती. उन्होंने ये भी कहा था कि संघर्ष का समाधान युद्ध नहीं हो सकता. ब्रिक्स समिट ने भारत और रूस की दोस्ती को एक और नया आयाम दिया. जुलाई में कजाकिस्तान में हुई शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) से नदारद रहे पीएम मोदी विशेष रूप से रूसी राष्ट्रपति के आह्वान पर ब्रिक्स में शामिल होने के लिए कजान गए थे.
बातचीत के दौरान पीएम मोदी हिंदी और राष्ट्रपति पुतिन रूसी भाषा में बोल रहे थे. दोनों नेताओं की बातों को रूसी और हिंदी में अनुवाद करने के लिए ट्रांसलेटर मौजूद थे. लेकिन पुतिन ने पीएम मोदी को संबोधित करते हुए कहा था कि भारत और रूस के संबंध इतने प्रगाढ़ हैं कि मुझे लगता है आप मेरी बातें बिना ट्रांसलेटर की मदद के भी समझ सकते हैं. पुतिन की इस टिप्पणी पर पीएम मोदी खिलखिला उठे थे.