संविदा कर्मियों के भविष्य निधि पर डाका, साइबर ठगों ने ऐसे करोड़ों रुपये लूटे

पुलिस कर रही है गहन तफ्तीश.

Update: 2021-08-31 11:52 GMT

कानपुर (Kanpur) में संविदा कर्मचारियों (Contractual Employees) की भविष्य निधि (Provident Fund) धोखे से निकालने का मामला सामने आया है. मामले में क्राइम ब्रांच (Crime Branch) ने एक अभियुक्त को गिरफ्तार (Arrest) किया है. पुलिस ने उसका लैपटॉप (Laptop) और मोबाइल (Mobile) जब्त कर लिया है. दोनों की डिटेल निकालने की कोशिश की जा रही है, ताकि आगे की कडियों को जोड़ा जा सके. वहीं, पीड़ितों की ओर से दी गई तहरीर के आधार पर आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया गया है. पकड़ा गया शातिर फर्जी बैंक खाता (Fake Bank Account) लिंक कर संविदा कर्मचारियों की भविष्य निधि पार करने का काम कर रहा था.

पुलिस ने दर्ज किया मुकदमा
आउट सोर्सिंग में कर्मचारी मुहैया कराने वाली कंपनियों के कुछ कर्मचारी के बैंकों से मिलीभगत करके भविष्य निधि की रकम हड़प करने की बात सामने आई है. अब तक करीब 260 कर्मचारियों का करीब एक करोड़ रुपया निकाला गया है. क्राइम ब्रांच ने इस मामले में शामिल पी रोड के रहने वाले मुकुल दुबे उर्फ रियांस को गिरफ्तार किया है. रियांस ने कई कर्मचारियों से संपर्क किया और उनको पीएफ निकलवाने में मदद का भरोसा दिया था. जिन कर्मचारियों से उसने संपर्क किए, उनमें से कई के पीएफ अकाउंट खाली हैं. पीड़ित कर्मचारियों की ओर से क्राइम ब्रांच को तहरीर दी गई है. पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर आगे की कार्रवाई शुरू कर दी है.
पुलिस ने रियांस का मोबाइल और लैपटाप जब्त कर लिया है और डिटेल खंगाली जा रही है. रियांस ने लोगों से संपर्क किया और उनके मोबाइल नंबर और अन्य डिटेल लेकर फर्जी खाते खुलवाए और उनका एक्सेस अपने पास ले लिया. रियांस ने लॉकडाउन के दौरान कई महीने ईपीएफ कार्यालय में काम भी किया और वर्क फ्रॉम होम करके काफी सारी जानकारी वहां से जुटा ली. क्राइम ब्रांच ने पीड़ित कर्मचारियों से पूछताछ की है और उनके दस्तावेज देखे तो आधा दर्जन बैंकों की मिलीभगत सामने आई है. इससे अंदेशा है कि ये किसी बड़े गिरोह का काम है.

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