पीएम मोदी बोले- बेटियों की शादी की उम्र 21 करने से किसे तकलीफ, सब देख रहे हैं...इशारा किस तरफ?

Update: 2021-12-21 12:09 GMT

प्रयागराज: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को विपक्ष पर निशाना साधते हुए कहा कि शादी की उम्र 18 से 21 साल करने के फैसले से महिलाएं खुश हैं, लेकिन शादी की उम्र 18 से 21 करने पर कुछ लोगों को तकलीफ हो रही है. पीएम मोदी प्रयागराज में महिला सशक्तिकरण सम्मेलन को संबोधित कर रहे थे.

पीएम मोदी ने कहा कि पीएम आवास योजना के तहत उत्तर प्रदेश में कुल 30 लाख घर दिए गए हैं. इनमें से 25 लाख घरों की रजिस्ट्री महिलाओं के नाम पर हुई. पीएम ने कहा, यह महिला सशक्तिकरण के लिए सरकार की प्रतिबद्धता को दिखाता है. पीएम मोदी ने कहा, सदियों से महिलाओं के नाम पर संपत्तियां नहीं थीं. लेकिन अब बदलाव हो रहा है. यही तो है महिला सशक्तिकरण. यही तो विकास है.
पीएम मोदी का किस तरफ था इशारा?
मोदी कैबिनेट ने हाल ही में लड़कियों की शादी की उम्र 18 साल से बढ़ाकर 21 साल करने के फैसले को मंजूरी दी है. हालांकि, केंद्र के इस फैसले पर एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी और सपा के कुछ सांसदों ने सवाल उठाए थे. माना जा रहा है कि प्रयागराज से पीएम मोदी ने इन्हीं नेताओं पर इशारों ही इशारों में निशाना साधा.
किन नेताओं ने किया था विरोध?
असदुद्दीन ओवैसी:
AIMIM नेता असदुद्दीन ओवैसी ने केंद्र सरकार के इस फैसले पर सवाल उठाए थे. उन्होंने कहा कि 18 साल की लड़की और लड़का कॉन्ट्रैक्ट साइन कर सकते हैं, बिजनेस स्टार्ट कर सकते हैं. पीएम चुन सकते हैं, सांसद विधायक चुन सकते हैं. लेकिन शादी नहीं कर सकते. वे आपसी सहमति से यौन संबंध बना सकते हैं, लिव-इन रिलेशनशिप में रह सकते हैं. लेकिन अपने जीवन साथी का चयन नहीं कर सकते. यह हास्यास्पद है.
अबू आजमी:
सपा नेता अबू आजमी ने कहा था कि जब से मैं बढ़ा हुआ हूं, यही सुन रहा हूं कि परिवार में जब भी कोई मरता है, उसका तुरंत अंतिम संस्कार होना चाहिए. इसी तरह से जैसे ही लड़की बड़ी होती है, उसकी शादी कर देनी चाहिए. लेकिन अब 18 साल की उम्र में भी लड़की शादी नहीं कर सकती. इसका मतलब यह है कि 18 साल की उम्र में वह नहीं समझ सकती, लेकिन 21 साल की उम्र में वह परिपक्व हो जाएगी.
सपा सांसद शफीकुर्रहमान बर्क :
समाजवादी पार्टी के सांसद शफीकुर्रहमान बर्क ने सरकार के फैसले पर सवाल उठाते हुए लड़कियों के लिए भी आपत्तिजनक टिप्पणी की थी. सांसद शफीकुर्रहमान बर्क ने कहा था, कि अगर लड़कियों की शादी की उम्र बढ़ाई गई, तो लड़कियों को ज्यादा आवारगी का मौका मिलेगा. हालांकि, बाद में वे अपने बयान से पलट गए. उन्होंने कहा कि मेरे बयान का वो मतलब नहीं था.


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