जबलपुर। पश्चिम मध्य रेल द्वारा कोचों और वैगनों का रूटीन ओवर हॉलिंग करके अधिक से अधिक पीओएच (पीरियोडिक ओवर हॉलिंग) आउटटर्न किया जा रहा है। पमरे के अनुरक्षण डिपों में इस वित्तीय वर्ष के छमाही में लक्ष्य से अधिक कोचों/वैगनों का अनुरक्षण करके अच्छा प्रदर्शन किया गया है।
पमरे महाप्रबंधक सुधीर कुमार गुप्ता के मार्गदर्शन में और प्रमुख मुख्य यांत्रिक अभियंता के नेतृत्व में वर्कशॉप के अधिकारी एवं कर्मचारियों द्वारा अप्रैल से अक्टूबर माह तक सीआरडब्लूएस/भोपाल एवं डब्लूआरएस/कोटा दोनों कारखानों में कुल 4311 कोचों/वैगनों का पिरियोडीक ओवर हॉलिंग आउटटर्न किया। जिसमें सवारी डिब्बा पुर्ननिर्माण कारखाना भोपाल ने 700 कोचों का अनुरक्षण किया तथा कोटा वर्कशॉप ने 3611 वैगनों की मरम्मत करके आउटटर्न किया है। अकेले अक्टूबर माह की बात करे तो सीआरडब्लूएस/भोपाल एवं डब्लूआरएस/कोटा दोनों कारखानों में कुल 619 कोचों/वैगनों का पीरियोडिक ओवर हॉलिंग आउटटर्न किया। जिसमें सवारी डिब्बा पुर्ननिर्माण कारखाना भोपाल ने 92 कोचों का अनुरक्षण किया और कोटा वर्कशॉप ने 527 वैगनों की मरम्मत करके आउटटर्न किया है।
वैगनों का पीओएच (पिरियोडीक ओवर हॉलिंग) 04/06 वर्ष में एक बार किया जाता है, तथा कोचों का पीओएच 12 से 18 महीनों में एक बार किया जाता है। सीआरडब्लूएस भोपाल कोचों का पीओएच और डब्ल्यूआरएस कोटा वैगनों का पीओएच करती है। पिरियोडिक ओवर हॉलिंग (पीओएच) के दौरान कोचों और वैगनों में मुख्य निम्न कार्य किये जाते हैं :-
* कोचों और वैगनों के नीचे ट्रॉली, बोगी के सभी पार्ट्स की मरम्मत की जाती है, जो सरंक्षा की दृष्टि से अति महत्वपूर्ण है।
* कोच और वैगन के बॉडी और अंडर गियर की भी मरम्मत की जाती है, जिससे यात्रियों को आरामदायक यात्रा का अनुभव दिया जा सके और परिचालन में सरंक्षा सुनिश्चित की जा सके।
* एयर ब्रेक सिस्टम के सभी पार्ट एवं वैगनों और कोचों के दोनों ओर के बफ़र की मरम्मत की जाती है जिससे सरंक्षा में बढ़ोत्तरी एवं जर्क फ्री राइडिंग का अनुभव होता है।
* व्हील और एक्सल की मरम्मत एवं रखरखाव किया जाता है, जिससे सुरक्षा में इजाफा होता है।