नई दिल्ली: एक वायरल इंफेक्शन का सबसे खतरनाक पहलू उसकी गंभीरता है. कोविड-19 के डेल्टा वैरिएंट ने भारत समेत दुनियाभर के देशों में कहर बरपाया था. डेल्टा वैरिटएंट की संक्रामकता बहुत ज्यादा थी. इसमें मरीजों को हल्के और गंभीर लक्षण दोनों महसूस हो रहे थे. उनमें तेज बुखार, लगातार खांसी, सांस में तकलीफ, छाती में दर्द, खून में ऑक्सीजन की कमी जैसे लक्षण देखे जा रहे थे. अब कोरोना का नया ओमिक्रॉन वैरिएंट दुनिया के सामने एक नई मुसीबत बनकर खड़ा हो गया है. इसकी गंभीरता, ट्रांसमिशन रेट और लक्षणों को लेकर कई तरह के दावे किए जा रहे हैं.
WHO (विश्व स्वास्थ्य संगठन) का दावा है कि नया ओमिक्रॉन वैरिएंट पहले संक्रमित हो चुके लोगों को भी आसानी से अपनी चपेट में ले सकता है. इसके अलावा, वैक्सीन के दोनों डोज ले चुके लोग भी ओमिक्रॉन के खिलाफ सुरक्षित नहीं हैं.. आने वाले कुछ दिन या सप्ताह में साफ हो जाएगा कि ओमिक्रॉन वैरिएंट आखिर कितना खतरनाक है. अब तक दुनियाभर के डॉक्टर्स और वैज्ञानिक ओमिक्रॉन में कई तरह के लक्षण दिखने का दावा भी कर चुके हैं.
रात में पसीना और शरीर में दर्द- दक्षिण अफ्रीका के स्वास्थ्य विभाग के जनरल प्रैक्टिशनर डॉ. उनबेन पिल्ले कहते हैं कि ओमिक्रॉन से संक्रमित मरीजों को रात में पसीना आने की शिकायत हो सकती है. कई बार मरीज को इतना ज्यादा पसीना आता है कि उसके कपड़े या बिस्तर तक गीला हो सकता है. संक्रमित को ठंडी जगह में रहने पर भी पसीना आ सकता है. इसके अलावा मरीज को शरीर में दर्द की शिकायत भी हो सकती है.
सूखी खांसी और शरीर में दर्द- डॉ. उनबेन पिल्ले कहते हैं कि उन्होंने ओमिक्रॉन से संक्रमित मरीज में सूखी खांसी के लक्षण भी देखे हैं. ये लक्षण कोरोना के अब तक सभी पुराने स्ट्रेन में देखा जा चुका है. इसके अलावा बुखार और मांसपेशियों में दर्द भी ओमिक्रॉन के लक्षण हो सकते हैं.
गले का छिलना- इससे पहले दक्षिण अफ्रीका की एक डॉक्टर एंजलीके कोएट्जी ने ओमिक्रॉन से संक्रमित लोगों में गले में खराश की बजाय गला छिलने जैसी दिक्कत देखने का दावा किया था, जो कि असामान्य है. ये दोनों लक्षण लगभग एक जैसे हो सकते हैं. हालांकि गले में छिलने की समस्या ज्यादा दर्दनाक हो सकती है.
हल्का बुखार- कोरोना के किसी भी वैरिएंट के साथ हल्का या तेज बुखार होने की शिकायत लगातार सामने आई हैं. डॉ. कोएट्जी कहती हैं कि ओमिक्रॉन के संक्रमण में मरीज को हल्का बुखार हो सकता है और इसमें बॉडी का टेंपरेचर अपने आप नॉर्मल हो जाता है.
थकावट- पिछले तमाम वैरिएंट्स की तरह ओमिक्रॉन में भी मरीज को बहुत ज्यादा थकान महसूस हो सकती है. इसमें संक्रमित इंसान का एनेर्जी लेवल काफी कम हो जाता है. शरीर में दिख रहे इस लक्षण को इग्नोर करने की बजाए तुरंत कोविड-19 की जांच कराएं.