14 panchayats की बैठक में नहीं पहुंचे अधिकारी

Update: 2024-06-30 12:21 GMT
Nahan. नाहन। विकास खंड नाहन में शनिवार को 14 ग्राम पंचायतों की वन अधिकार समितियों के जनप्रतिनिधियों ने हिस्सा लेते हुए एफआरए के बारे में जानकारी के साथ पेश आ रही समस्याओं को भी पटल पर रखा। खंड विकास अधिकारी नाहन परमजीत सिंह ठाकुर की अध्यक्षता में इस दौरान वन अधिकारों पर समितियों की बैठक का आयोजन हुआ। 14 पंचायतों की वन अधिकार एक्ट की बैठक में पेश आ रही वन समितियों के उठे प्रश्रों का समाधान इस दौरान नहीं हो पाया। क्योंकि इस दौरान वन विभाग से कोई भी अधिकारी-कर्मचारी यहां मौजूद नहीं रहा। इससे वन समितियों में रोष पाया गया। अनुसूचित जनजाति व जनजाति व अन्य परंपरागत वनवासी ने एफआरए एक्ट 2006 के बारे में इस दौरान अधिकारियों से प्रशिक्षण भी प्राप्त किया।
वहीं समितियों ने एफआरए क्या है।
किन-किन अधिकारों को यह एक्ट मान्यता प्रदान करता है के विषय में जहां जानकारी प्राप्त की है। वहीं वन अधिकार मिलने की क्या-क्या प्रक्रिया है, के विषय पर जानकारी सांझा की गई है। आयोजित कार्यक्रम में वनों की सुरक्षा, संरक्षण व प्रबंधन में ग्राम सभा की भूमिका के योगदान को भी बताया गया। जबकि व्यक्तिगत वन अधिकार, सामुदायिक वन अधिकार विषय पर जानकारी प्रदान की गई। वहीं इस दौरान समितियों के पदाधिकारियों ने एफआरए के तहत पेश आ रही सभी समस्याओं का पूरा ब्योरा भी पेश किया। इस दौरान ग्राम पंचायत प्रधान देवका पुड़ला नरेश कुमार ने कहा कि ऐसी सरकारी जमीनें जोकि कुछ एक लोगों के पास पुश्तैनी तौर पर चल रही हैं,उन्हें एफआरए एक्ट के तहत जमीन का मालिकाना हक मिलना चाहिए। वहीं समस्याओं में कहा गया कि एफआरए एक्ट के तहत यदि पेड़ों की कटाई का पैसा जमा होता है तो अपू्रवल के बाद आधा पैसा वापस मिलना चाहिए। ऐसा नहीं हो रहा है। बैठक में इस दौरान प्रशिक्षण कमेटियों का गठन, ग्राम सभा, दावा प्रस्तुत करने व अन्य गतिविधियों पर चर्चा की गई।
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