फिल्मी अंदाज में व्यापारी का मर्डर, पहले कार चढ़ाई फिर गोलियां दागी, इलाके में दहशत

हिस्ट्रीशीटर था।

Update: 2024-05-26 06:15 GMT
सिरसागंज: सिरसागंज के सोथरा रोड पर शनिवार को फिल्मी अंदाज में एक लकड़ी व्यापारी को कार सवार बदमाशों ने सरेराह मौत के घाट उतार दिया। हमलावरों ने पहले शख्स पर कार चढ़ाई फिर दो गोलियां मारीं। इसके बाद उसे फावड़े से काट डाला। मौके पर मौत हो जाने के बाद हत्यारोपी अपनी कार को छोड़कर बाइक से फरार हो गए। मरने वाला शख्स मैनपुरी और फिरोजाबाद का हिस्ट्रीशीटर था।
कमलेश यादव (45) पुत्र जयश्रीराम निवासी नगला गुलाल लकड़ी का व्यापार करता था। शनिवार दोपहर सोथरा रोड स्थित निधि पैलेस पर लकड़ी उतरवाने आया था। उसका साथी मुकेश ट्रैक्टर लेकर आ रहा था और कमलेश बाइक से पहुंचा था। लकड़ियों को उतारने के बाद मुकेश ट्रैक्टर लेकर चला गया। कमलेश सिरसागंज की ओर आने लगा। तभी सामने से आई इंडिका कार ने कमलेश की बाइक में टक्कर मारी और उसे गिरा लिया।
कुचलने के बाद दो बदमाश कार से उतरे और कमलेश में दो गोलियां मारीं। बदमाशों ने तीसरी बार फिर कमलेश पर हमला किया। कार से फावड़ा निकालकर उसकी गर्दन पर कई बार प्रहार किए। इससे कमलेश की मौके पर ही मौत हो गई। वारदात के बाद हत्यारे अपनी कार को मौके पर छोड़कर बाइक से फरार हो गए। कार से पुलिस को एक कुल्हाड़ी भी मिली है। कमलेश के भाई ने गांव के पांच लोगों पर रंजिश में हत्या का केस दर्ज कराया है।
सिरसागंज के सोथरा चौराहे पर शनिवार को दिनदहाड़े हुए हत्याकांड में 22 वर्ष पुरानी रंजिश सामने आ रही है। मृतक कमलेश के भाई ने इसी रंजिश को लेकर पांच लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया है। पुलिस भी रंजिश को आधार मानकर हत्याकांड की जांच में जुट गई है। साल 2002 में चोब सिंह के भतीजे नकुल की कमलेश पक्ष की ओर से हत्या कर दी गई थी। इसके अगले साल 2003 में चोब सिंह पक्ष ने कमलेश की मां रामकली को मौत के घाट उतार दिया था। गुस्साए कमलेश पक्ष ने उसी दिन अपनी मां की हत्या का बदला लेते हुए चोब सिंह के पिता राजवीर की हत्या कर दी थी।
हत्या के बाद कमलेश यादव जेल भी गया था। साल 2007 में दोनों पक्षों में समझौता हो गया लेकिन इसके 17 साल बाद क्या वजह बनी जो कमलेश को नृशंस तरीके से मौत के घाट उतार दिया। पुलिस हत्या के इन्हीं कारणों की जांच कर रही है। फिलहाल पुलिस ने मृतक कमलेश के भाई भूरे की तहरीर पर पांच लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया है। इनमें चोब सिंह, श्रीदयाल, भूरैया व पप्पू पुत्रगण राजवीर और चचेरे भाई बृजेश पुत्र श्यामवीर आदि को आरोपी बनाया है। पुलिस इनकी तलाश में जुटी है। हत्याकांड से हर कोई सहमा सिरसागंज के सोथरा मार्ग पर हुए हत्याकांड के बाद हर कोई सहम गया था। हत्याकांड को हत्यारे अंजाम देने में लगे थे और कोई भी बचाने की हिम्मत नहीं कर पा रहा था।
कमलेश की हत्या के बाद उसके परिवार में कोहराम मच गया। गांव में पत्नी और बच्चों के अलावा परिवार की महिलाएं विलाप कर रही हैं। पुलिस ने ऐहतियातन फोर्स को गांव में तैनात कर दिया है।
हत्याकांड को अंजाम देने के लिए कार सवार पहले से घात लगाए हुए बैठे थे। जैसे ही कमलेश यादव निधि पैलेस मैरिज होम से लकड़ियां डलवाकर निकला वैसे ही बाइक में टक्कर मारकर उसको गिरा लिया। बुरी तरह टक्कर लगने से कमलेश घायल हो गया था।
एसएसपी सौरभ दीक्षित और एसपी देहात रणविजय सिंह ने हत्यारों की गिरफ्तारी के लिए टीमें लगाई हैं। उसके भाई की तहरीर पर दर्ज मुकदमे के आधार पर इन नामजदों को पकड़ने के लिए टीमें दौड़ रही हैं।
सिरसागंज पुलिस ने हत्याकांड के आसपास के सीसीटीवी कैमरों को खंगालना शुरू कर दिया है। इन कैमरों में बदमाशों के चेहरे, गतिविधि और किस ओर भागे होंगे इसको लेकर पता लगाया जा रहा है। फारेंसिक टीम ने मौके से छापे लिए हैं।
एसपी देहात रणविजय सिंह ने बताया कि जहां पर कमलेश की हत्या हुई है उससे थोड़ी दूरी पर ही हत्यारोपियों का खोखा भी है। रंजिश को लेकर हत्या हुई है। पांच टीम हत्यारोपियों की गिरफ्तारी के लिए लगाई है।
हत्यारे किसी भी कीमत पर हिस्ट्रीशीटर कमलेश को जिंदा नहीं छोड़ना चाहते थे। इसीलिए उन्होंने टक्कर मारने के बाद कार से उतरकर दो गोलियां दागी। इसके बाद भी लगा कि वह जिंदा रह सकता है तो कार से फावड़ा निकालकर ताबड़तोड़ गर्दन पर प्रहार किए थे।
हत्यारे फावड़े के साथ साथ कुल्हाड़ी भी लेकर आए थे। पुलिस को कार से कुल्हाड़ी बरामद की है। उनको पता था कि अगर कुल्हाड़ी की जरूरत होगी तो उससे भी प्रहार करेंगे, लेकिन इसकी जरूरत नहीं हुई।
हत्यारों को पता था कि हत्याकांड के बाद वह कार से अगर भागेंगे तो पकड़े जाएंगे। इसलिए हत्या के बाद पहले से उन्होंने बाइक सवार साथियों को तैयार कर लिया था। बाइक लगाकर तत्काल मौके पर आए और कार सवार हत्यारों को लेकर फरार हो गए।
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