उत्तराखंड समान नागरिक संहिता का ड्राफ्ट तैयार, सीएम धामी को जल्द सौंपा जाएगा

Update: 2023-06-30 11:19 GMT
देहरादून: उत्तराखंड समान नागरिक संहिता का ड्राफ्ट विशेषज्ञ कमेटी ने तैयार कर लिया है। कमेटी ने दिल्ली में प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान ऐलान किया कि ड्राफ्ट तैयार हो चुका है और जल्द ही राज्य सरकार को सौंपा जाएगा। कमेटी ने 2 लाख 31 हजार सुझाव के आधार पर ड्राफ्ट को तैयार किया है।
उत्तराखंड के लिए समान नागरिक संहिता का मसौदा तैयार होने के बाद समिति की अध्यक्ष जस्टिस (सेवानिवृत्त) रंजना प्रकाश देसाई ने प्रेस कॉन्फ्रेंस किया। रंजना देसाई ने कहा कि विधि आयोग पहले ही इस मुद्दे को लेकर काम करने पर विचार कर रहा है। विशेषज्ञ समिति की रिपोर्ट ड्राफ्ट कोड के साथ जल्द ही मुद्रित कर उत्तराखंड सरकार को सौंपी जाएगी।
उत्तराखंड में जो कस्टम प्रैक्टिस हैं, उसको भी इसमें जगह दी है। सबसे महत्वपूर्ण बातें की, देश के अलग-अलग राज्यों में जो प्रथा चल रही है, उसका भी कमेटी ने अध्ययन किया है। इसी तरह से विदेश में इस तरह से कानून हैं, उसका भी अध्ययन किया गया।
जस्टिस रंजना देसाई ने कहा कि कमेटी ने उत्तराखंड के राजनेताओं, मंत्रियों, विधायकों और आम जनता की राय ली है। उसके बाद ही समान नागरिक संहिता का मसौदा तैयार किया गया है।
इससे पहले 2 जून को जस्टिस रंजना देसाई और उत्तराखंड के लिए यूसीसी का मसौदा तैयार करने वाली समिति के सदस्यों ने विधि आयोग के अध्यक्ष जस्टिस (सेवानिवृत्त) ऋतुराज अवस्थी और सदस्यों केटी शंकरन, आनंद पालीवाल और डीपी वर्मा से मुलाकात की थी। उस समय जस्टिस रंजना देसाई ने कहा था कि विधि आयोग इस मुद्दे को लेकर काम करने पर विचार कर रहा है। प्रदेश में सबकमेटी ने खुद 143 बैठक की। कमेटी ने 63 बैठक की, 20,000 लोगों से भी मुलाकात की गई है। और, उनके सुझाव लिए गए हैं।
बता दें कि 27 मई 2022 को राज्य सरकार ने कमेटी के गठन का नोटिफिकेशन जारी किया था। 30 जून 2023 को कमेटी ने ड्राफ्ट बनाने का काम पूरा कर लिया है। राज्य सरकार को जल्द ही ड्राफ्ट मिल जाएगा। जैसा कि आप जानते हैं, सरकार ने उत्तराखंड के निवासियों के व्यक्तिगत नागरिक मामलों को विनियमित करने वाले विभिन्न मौजूदा कानूनों की जांच के लिए एक विशेषज्ञ समिति का गठन किया था।
इस संबंध में अधिसूचना 27 मई 2022 को जारी की गई थी और संदर्भ की शर्तें 10 जून 2022 को अधिसूचित की गई थीं। समिति की पहली बैठक 4 जुलाई 2022 को हुई थी। तब से समिति की 63 बार बैठक हो चुकी है। लिखित प्रस्तुतियां आमंत्रित करने के साथ-साथ सार्वजनिक संवाद कार्यक्रम आयोजित करके जनता की राय जानने के लिए पिछले साल एक उप-समिति का गठन किया गया था। उप-समिति ने अपने सार्वजनिक आउटरीच कार्यक्रम की शुरुआत सीमावर्ती आदिवासी गांव माणा से की और राज्य के सभी जिलों को कवर करते हुए 40 अलग-अलग स्थानों का दौरा किया, जिसका समापन 14 जून 2023 को दिल्ली में एक सार्वजनिक चर्चा में हुआ।
उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी का कहना है कि यूसीसी का मसौदा लेकर समिति, लोगों के बीच गई और एक साल से ज्यादा समय तक काम किया। समिति ने 2 लाख से ज्यादा लोगों, कई हितधारकों, संगठनों और बुद्धिजीवियों से बात की। जल्द ही ड्राफ्ट सरकार को मिल जाएगा। इसके बाद सरकार आगे की कार्रवाई करेगी। राज्य को केंद्र सरकार का भी सहयोग प्राप्त है।
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