मालिक की पहचान के लिए भैंस का DNA टेस्ट, पढ़े अलग मामला

Update: 2022-06-03 02:25 GMT

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शामली: शामली के एक रोचक मामला सामने आया है। दो साल पहले एक घर से भैंस का बच्चा चोरी हो गया था। तीन महीने पहले पता चला कि भैंस का बच्चा सहारनपुर के एक गांव में है, लिहाजा पीड़ित उस गांव में पहुंचा, लेकिन घरवालों ने उसे देने से इंकार दिया। इसके बाद पीड़ित ने मामला दर्ज कराया। एसपी के आदेश पर गुरुवार को पशु चिकित्सकों की टीम ने डीएनए टेस्ट के लिए शामली और सहारनपुर पहुंचकर भैंस और उसके बच्चे का ब्लड सैंपल लिया।

मामला ऊन तहसील के अहमदगढ़ गांव का है। इस मामले में चंद्रपाल कश्यप का कहना है कि 25 अगस्त 2020 को रात में उसके घेर से भैंस का बच्चा चोरी हो गया था। उन्होंने कई दिनों तलाश की। चोरी में परिवार के किसी सदस्य का हाथ होने की बात कही गई, अरविंद, विनोद और पिकअप चालक हारुन के खिलाफ मामला दर्ज कराया था। चंद्रपाल ने बताया कि तीन महीने बाद पता चला कि भैंस का बच्चा सहारनपुर के बीनपुर गांव में सतवीर के घर में है।
जानकारी मिलने पर चंद्रपाल सहारनपुर पहुंचा और भैंस का बच्चा लौटाने को कहा लेकिन सतवीर ने मना कर दिया। इस पर भैंस के बच्चे को पाने के लिए उसने कानूनी लड़ाई शुरू कर दी। उच्च अधिकारियों से लेकर सीएम तक गुहार लगाई। एसपी के आदेश पर गुरुवार को बिडौली पुलिस चौकी प्रभारी अरुण कुमार मौतला के साथ पांच पशु चिकित्सकों की टीम अहमदगढ़ चंद्रपाल के घर पहुंची।
टीम के सदस्य चंद्रपाल के साथ सहारनपुर के बीनपुर गांव में सतपाल के घर पहुंचकर भैंस के बच्चे का ब्लड सैंपल लिया। इस मामले में बिडौली चौकी प्रभारी अरुण कुमार ने बताया कि सतपाल से जब भैंस के बच्चे के बारे में पूछा गया तो वह कोई सही जवाब नहीं दे सका। भैंस के बच्चे पर अहमदगढ़ के चंद्रपाल और सहारनपुर के बीनपुर गांव निवासी अपना-अपना दावा पेश कर रहे हैं।
चंद्रपाल ने भैंस के बच्चे के चोरी के मामले में सीएम और उच्चाधिकारियों को पत्र लिखा था। इस मामले में एसपी सुकीर्ति माधव ने भैंस और उसके बच्चे का डीएनए टेस्ट कराने के आदेश दिए थे।


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