मुख्यमंत्री के खिलाफ कार्रवाई की मांग, उद्धव ठाकरे की बढ़ सकती हैं मुश्किलें!

Update: 2021-08-26 13:54 GMT

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महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे (Uddhav Thackeray) के खिलाफ केंद्रीय मंत्री नारायण राणे (Narayan Rane) के विवादित बयान और उस पर पुलिस द्वारा की गई कार्रवाई ने राजनीतिक रंग लेना शुरू कर दिया है. इसी मामले की प्रतिक्रिया में उत्तर प्रदेश के अंबेडकर नगर जनपद में बीजेपी के दो कार्यकर्ताओं ने मुख्यमंत्री पोर्टल पर एक शिकायत दर्ज की है. इसमें साल 2018 में चुनाव-प्रचार के दौरान महाराष्ट्र के पालघर में उद्धव ठाकरे द्वारा यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (CM Yogi Adityanath) के खिलाफ की गई अपमानजनक टिप्पणी को लेकर प्राथमिकी दर्ज करने की मांग की गई है. फिलहाल, अभी तक पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की है. शिकायतकर्ताओं का कहना है कि अगर पुलिस इस मामले में प्राथमिकी नहीं दर्ज करती है तो वो लोग न्यायालय का सहारा लेंगे.

महाराष्ट्र में भी कार्रवाई की मांग

इधर, महाराष्ट्र में बीजेपी के यवतमाल जिला अध्‍यक्ष नितिन भुटाडा ने मुख्‍यमंत्री उद्धव ठाकरे के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने और भड़काऊ भाषण देने के लिए कानूनी कार्रवाई करने की मांग की है. उमेरखेड़ पुलिस के मुताबिक उनके पास महाराष्‍ट्र के सीएम से जुड़ी एक शिकायत आई है. इस शिकायत में कहा गया है कि 25 अक्‍टूबर 2020 को दशहरा भाषण के दौरान महाराष्‍ट्र के मुख्‍यमंत्री उद्धव ठाकरे ने योगी आदित्यनाथ के खिलाफ अभद्र भाषा का इस्‍तेमाल किया था. इसी के खिलाफ कार्रवाई की मांग की जा रही है.

केंद्रीय मंत्री नारायण राणे का कहना है कि स्वतंत्रता दिवस के मौके पर संबोधन में मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे भूल गए थे कि देश की आजादी को कितने साल हुए हैं. इसके बाद राणे ने महाराष्ट्र के रायगढ़ जिले में 'जन आशीर्वाद यात्रा' के दौरान कहा था कि यह शर्मनाक है कि मुख्यमंत्री को यह नहीं पता कि आजादी को कितने साल हो गए हैं. भाषण के दौरान वह पीछे मुड़कर इस बारे में पूछते नजर आए थे. उन्होंने कहा,'अगर मैं वहां होता तो उन्हें एक जोरदार थप्पड़ मारता.'नारायण राणे का ये बयान विवादों में घिर गया. राणे के खिलाफ शिवसेना के कार्यकर्ताओं ने कई शहरों में विरोध प्रदर्शन भी किया. इसके बाद पुलिस ने उन्हें हिरासत में ले लिया था.

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