वाराणसी। रामनगर में गृहकर आरोपण के विरोध में कई राजनीतिक दलों के प्रतिनिधिमंडल ने बुधवार को आपत्तियां दर्ज कराई। जोनल अधिकारी शिखा मौर्य को सौंपे गए आपत्तियों में रामनगर को पांच साल तक गृहकर आरोपण से मुक्त रखने की मांग की गई है। जोनल कार्यालय पहुंचे प्रतिनधिमण्डलों का कहना था कि जब से नगर पालिका का नगर निगम में विलय हुआ है, तब से लेकर आज तक निगम द्वारा एक भी विकास का कार्य नहीं हुआ। रामनगर एवं सूजाबाद वार्ड मूलभूत सुविधाओं से वंचित है और विकास से कोसों दूर है। उसके बावजूद गृह कर आरोपण की प्रक्रिया शुरू किया जाना पूरी तरह अनुचित है। निगम अधिनियम भी यही कहता है कि नए शामिल क्षेत्रों से पांच साल तक कोई कर नहीं लिया जा सकता। जोनल अधिकारी ने लोगों को नगर आयुक्त से मिलकर अपनी बात रखने की सलाह देते हुए आश्वासन दिया कि वो उनकी मांगों पर उच्चाधिकारियों से बात करेंगी। अलग अलग प्रतिनिधि मंडलो में लोकतंत्र सेनानी सतनाम सिंह , व्यापार मंडल के आलोक सेठ, भैरव नाथ जायसवाल, शमशाद खान, जितेंद्र मलिक, रुद्र प्रताप सिंह, प्रभुनाथ गुप्ता, विपिन सिंह, संजय यादव, पार्षद रामकुमार यादव , रामजी गुप्ता, राजू सोनकर, आदि शामिल थे।