भारत INDIA : मिसाइलों को अब देखो खुद ही फायर हो गया। जमीन से एक हजार से तीन हजार किमी दूर ही प्रोटोटाइप उन्हें नष्ट कर देंगे। बैल वैज्ञानिक मिसाइलों को नष्ट करने का उद्देश्य बनाया गया है। भारत ने रविवार को ओडिशा तट से बैलिस्टिक मिसाइल रक्षा प्रणाली के दूसरे चरण का सफल परीक्षण किया। इससे पहले शत्रु देशों की मिसाइलों को सीमा में नष्ट करने से पहले ही हवा में सफलता प्राप्त हो गई थी। अपनी तरह के एक विशेष परीक्षण में पहले एक मिसाइल छोड़ी गई और उसके बाद 'एडी इंटरसेप्टर मिसाइल' ने उसे आकाश में गिरा दिया। इस रक्षा प्रणाली ने भारत की रक्षा के लिए पांच हजार किमी श्रेणी की बैलिस्टिक मिसाइलों का प्रदर्शन किया। अधिकारियों ने बताया, दूसरे चरण की एडी इंटरसेप्टर मिसाइल को बालासोर के के इंटीग्रेटेड टेस्टिंग रेंज (आईटीआर) के पैड-3 से लॉन्च किया गया। इस परीक्षण में लंबी दूरी के सेंसर, संचार प्रणाली सहित सभी उड़ान परीक्षणों को पूरा किया गया। बयान में कहा गया है, मिसाइल की निगरानी में विभिन्न स्थानों पर स्थित प्लांटों पर लगी रेंज में कंपनी की स्थापना की गई। वहीं, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि सफल उड़ान परीक्षण ने देश की बैलिस्टिक मिसाइल रक्षा क्षमता को फिर से चित्रित किया है। सिल्वरपुर
चार मिनट में विध्वंस हुआ - सबसे पहले दुश्मन देश की बैलिस्टिक मिसाइल को शाम 4:20 बजे लॉन्च किया गया, जिसके प्रयोग के रूप में दुश्मन देश की बैलिस्टिक मिसाइल को दिखाया गया।- इस मिसाइल के लॉन्च होने की जानकारी जमीन और समुद्र में होने से नासा इंटरसेप्टर सिस्टम को पता चला - इसके बाद एडी इंटरसेप्टर सिस्टम सक्रिय हो गया - एडी इंटरसेप्टर मिसाइल ने शाम 4:24 बजे आकाश में होने वाली मिसाइल को पहले ही हवा में ही लॉन्च कर दिया दुश्मन देशों की मिसाइलों को नष्ट करें यह मिसाइलें दुश्मन देशों की मिसाइलों को अब खुद ही आग की तरह देख रही हैं। जमीन से एक हजार से तीन हजार किमी दूर हीPrototype प्रोटोटाइप उन्हें नष्ट कर देंगे। बैल वैज्ञानिक मिसाइलों को नष्ट करने का उद्देश्य बनाया गया है। 10 हजार लोगों को निकाला गया बालासोर प्रशासन ने पहले लॉन्च किए गए पैड के 3.5 किमी के हिस्से में रहने वाले प्रोजेक्ट से 10,581 लोगों को प्रोजेक्ट लॉन्च किया था। जिला प्रशासन ने लोगों को पहले ही बता दिया था कि रविवार सुबह चार बजे घर से कूड़ा डंप में जाना होगा।