Shimla. शिमला। साइबर ठग आए दिन नई-नई तरकीबों का इस्तेमाल करके धोखाधड़ी कर रहे हैं, लेकिन अब साइबर ठग सोशल मीडिया और बैंक खातों को किराए पर लेकर ठगी की घटनाओं को अंजाम दे रहे हैं। दरअसल, इन्फ्लूएंसर इकोनॉमी के बढऩे से सोशल मीडिया को एक पैसे कमाने के उपकरण के रूप में देखा जाने लगा है। साइबर ठग इसका फायदा उठाते हैं और और अब सोशल मीडिया यूजर्स को को मार्केटिंग का झांसा देकर जल्दी और ज्यादा पैसे देने का वादा कर रहे हैं। अगर यूजर्स इस झांसे में फंस जाते हैं, तो वे अपने अकाउंट का नियंत्रण खो सकते हैं और यहां तक कि कानूनी समस्याओं में भी पड़ सकते हैं। साइबर ठगी की घटनाएं इन दिनों बढ़ती ही जा रही हैं।
कई देशों में सोशल मीडिया और बैंक खातों को किराए पर देने का एक वैध तरीका है। कुछ कंपनियां इस पर आधारित व्यवसाय चला रही हैं, जिनका दावा है कि यूजर्स प्रोफाइल को किराए पर लेकर और सकारात्मक संदेश पोस्ट करके ब्रांड की पहुंच बढ़ाई जा सकती है, लेकिन इसका दूसरा पक्ष खतरनाक भी है। स्टेट सीआईडी डीआईजी साइबर क्राइम मोहित चावला का कहना है कि कई बार सोशल मीडिया खाता मालिक जो अपने खाते में अपने ई-मेल के माध्यम से लॉगिन करते हैं, वे अपने ई-मेल खाते तक पहुंच खो सकते है। डीआईजी मोहित चावला ने कहा कि कोई प्रतिष्ठित कंपनी आपके लिंक्डइन खाते तक पहुंच प्राप्त करने की आवश्यकता नहीं होगी। वे इसके बजाय सहयोग या समर्थन चाहते होंगे। जो सोशल मीडिया खाते इस तरह की पेशकश करते हैं, वे भी कुछ संकेत दे सकते हैं।