BIG BREAKING: PM मोदी के साथ मुख्यमंत्रियों की बैठक खत्म, इन मुद्दों पर हुई चर्चा
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New Delhi. नई दिल्ली। दिल्ली भाजपा हेडक्वार्टर में पार्टी शासित राज्यों के मुख्यमंत्रियों और उप-मुख्यमंत्रियों की चल रही बैठक खत्म हो गई है। बैठक में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृह मंत्री अमित शाह, पार्टी अध्यक्ष जेपी नड्डा और संगठन के प्रमुख नेता मौजूद हैं। बैठक में पार्टी में चल रही अंदरूनी गुटबाजी और इस साल चार राज्यों- महाराष्ट्र, हरियाणा, झारखंड और जम्मू-कश्मीर में होने वाले विधानसभा चुनाव की रणनीति पर चर्चा होने की संभावना है। लोकसभा चुनाव के बाद यह पहली बड़ी बैठक है, जिसमें भाजपा के सभी मुख्यमंत्री मौजूद हैं।
सूत्रों के मुताबिक, राज्यों के मुख्यमंत्री अपने काम का भी हिसाब-किताब देंगे। उन्हें पार्टी की ओर से एक फॉर्मेट दिया गया है जिसमें अपने कार्यकाल की उपलब्धियां बताने को कहा गया है। साथ ही उन योजनाओं को भी बताने को कहा गया है जिसे वो लागू नहीं कर पाए। लोकसभा चुनाव में उत्तर प्रदेश समेत सभी राज्यों में पार्टी के खराब और अच्छे प्रदर्शन पर भी चर्चा होगी। इसके अलावा जिन राज्यों में पार्टी के अंदर खींचतान मची है, उस पर भी बातचीत होगी। सबसे अधिक चर्चा उत्तर प्रदेश की है।
उत्तर प्रदेश में हाल के दिनों में डिप्टी CM केशव प्रसाद मौर्य के नाराज होने की खबरें सुर्खियों में रहीं। उन्हें बीच में दिल्ली भी बुलाया गया था। केशव प्रसाद मौर्य और बृजेश पाठक भी बीजेपी मुख्यालय पहुंच चुके हैं। योगी आदित्यनाथ, केशव प्रसाद मौर्य, ब्रजेश पाठक (उत्तर प्रदेश), मोहन यादव (मध्य प्रदेश), भजनलाल शर्मा (राजस्थान), विष्णु देव साय (छत्तीसगढ़), नायब सिंह सैनी (हरियाणा), भूपेंद्र पटेल (गुजरात), देवेंद्र फडणवीस (महाराष्ट्र), पुष्कर सिंह धामी (उत्तराखंड), हिमंता बिस्व सरमा (असम), पेमा खांडू (अरुणाचल प्रदेश), बिरेन सिंह (मणिपुर), मोहन चरण माझी (ओडिशा), माणिक साहा (त्रिपुरा)।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में शनिवार को नीति आयोग की गवर्निंग काउंसिल की 9वीं मीटिंग हुई. नीति आयोग के सीईओ बी.वी.आर. सुब्रह्मण्यम ने बताया कि बैठक में केंद्र शासित प्रदेशों के मुख्यमंत्रियों और उपराज्यपालों समेत 26 प्रतिभागियों ने भाग लिया था, जबकि इस अहम बैठक में 10 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों ने हिस्सा नहीं लिया. उन्होंने कहा कि केरल, तमिलनाडु, कर्नाटक, तेलंगाना, बिहार, दिल्ली, पंजाब, हिमाचल प्रदेश, झारखंड और पुडुचेरी के सीएम मीटिंग में शामिल नहीं हुए. उन्होंने कहा कि अगर वह इस मीटिंग में शामिल नहीं हुए, तो इसमें उनका ही नुकसान है. साथ ही कहा कि अगर ये राज्य मीटिंग में आते तो और बेहतर होता. ये हमारे और उनके लिए फायदेमंद होता.
नीति आयोग के सीईओ सुब्रह्मण्यम ने बैठक में शामिल न होने वाले राज्यों को लेकर कहा कि बहुत से ऐसे राज्य हैं, जो अंतिम समय में बैठक से बाहर हो गए. उन्होंने कहा कि मेरे पास कुछ ऐसे राज्यों के भाषण हैं, जिन्होंने बैठक में भाग नहीं लिया था. इसमें झारखंड और पुडुचेरी शामिल हैं. सुब्रह्मण्यम ने कहा कि ऐसा नहीं है कि जो राज्य मीटिंग में शामिल नहीं हुए, उसकी वजह बहिष्कार थी. जिन राज्यों ने बैठक में भाग नहीं लिया, मैं हमेशा उनके लिए कहता हूं कि यह उनका ही नुकसान है. बिहार के सीएम नीतीश कुमार के बैठक में शामिल न होने को लेकर भले ही राजनीतिक गलियारों में चर्चाएं हो रही हों, लेकिन नीति आय़ोग के सीईओ ने कहा कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार बैठक में इसलिए शामिल नहीं हो सके, क्योंकि वे राज्य में विधानसभा सत्र में व्यस्त थे.