हल्द्वानी : तराई केंद्रीय वन डिवीजन की टांडा रेंज के अंतर्गत लालकुआं के जंगलों में वन तस्करों और वन टीम की मुठभेड़ हो गई। तस्करों की फायरिंग के बाद वन टीम ने जवाबी फायरिंग की, इसमें एक तस्कर घायल हो गया। जिसे डॉ. सुशीला तिवारी राजकीय अस्पताल में भर्ती कराया गया है। वहीं दो अन्य तस्कर गिरफ्तार हुए हैं, जिनके खिलाफ मुकदमा दर्ज कर जेल भेजने की कार्रवाई की जा रही है।
वन अधिकारियों के अनुसार, टांडा रेंज की वन टीम शनिवार की रात करीब 2 बजे गश्त कर रही थी। इस बीच सूचना मिली कि वन तस्कर टांडा रेंज में लालकुआं पुलिस स्टेशन के पीछे जंगलों में शीशम की लकड़ी का अवैध कटान कर रहे हैं। सूचना पर टांडा रेंजर रुप नारायण गौतम के नेतृत्व में वन टीम मौके पर पहुंची।
टीम ने देखा कि 8-9 तस्कर शीशम के पेड़ काटकर पिकअप वाहन में भर रहे थे। टीम ने तस्करों को रोकने की कोशिश की तो तस्करों ने वन टीम पर हमला कर दिया। आरोप है कि तस्करों ने 315 बोर के अवैध तमंचे से वन टीम पर फायरिंग कर दी, जिसमें वन कर्मी बाल-बाल बच गए। जवाब में वन टीम ने भी फायरिंग की। इसमें एक तस्कर लखविंदर सिंह निवासी ग्राम थापा नगला बाजपुर ऊधमसिंह नगर के पैर में गोली लग गई और वह घायल लग गया।
जबकि दो अन्य तस्कर मो. जुनैद पुत्र मो. उमर निवासी बरहैनी और अमनदीप सिंह पुत्र परमजीत सिंह निवासी थापा नगला निवासीगण ऊधमसिंह नगर गिरफ्तार हो गए। जबकि पांच-छह तस्कर भागने में कामयाब हो गए। वन विभाग अब इनकी शिनाख्त व गिरफ्तारी के प्रयास में जुट गया है। वन टीम को मौके से एक पिकअप वाहन, एक बाइक, एक जिंदा व एक इस्तेमाल किया हुआ कारतूस और 13 नग शीशम के गिल्टे बरामद हुए हैं। वाहनों व अवैध तमंचे को सीज कर दिया गया है। तस्करों के खिलाफ लालकुआं पुलिस स्टेशन में शिकायत सौंपी है। तस्करों के खिलाफ केस दर्ज कराया जा रहा है। घायल लखविंदर सिंह को डॉ. सुशीला तिवारी राजकीय अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जहां उसका उपचार चल रहा है। जबकि दो तस्करों को जेल भेजने की कार्यवाही की जा रही है।
वॉचर बहादुर सिंह का हत्यारा है लखविंदर
डीएफओ तिवारी ने बताया कि जिस तस्कर लखविंदर सिंह को जवाबी फायरिंग में गोली लगी है, वह वॉचर बहादुर सिंह का हत्यारा है। उसने वर्ष 2019 में अवैध पातन रोकने गए वॉचर की अवैध तमंचे से गोली मारकर हत्या कर दी थी। इस मामले में वह जेल में था। कुछ दिनों पूर्व ही जेल से बाहर आया और लकड़ी तस्करी में लग गया। उप्र पुलिस ने उसे खैर की तस्करी में गिरफ्तार किया था। वहां से छूटने के बाद टांडा रेंज में पेड़ काटने के लिए पहुंचा। जहां उसकी वन टीम से मुठभेड़ हो गई।
वन टीम में ये रहे शामिल
टांडा रेंजर रूपनारायण गौतम, डिप्टी रेंजर कैलाश तिवारी, वनदरोगा प्रीतम राम, हरीश नयाल, पान सिंह मेहता, गणेश सती, वन आरक्षी हरीश चंद्र अंकित सिंह, चालक राहुल सिंह व एसओजी टीम शामिल थी।