देहरादून। विधानसभा अध्यक्ष रितु खंडूरी द्वारा कल उत्तराखंड विधानसभा में हुई नियुक्तियों को रद्द करने के बाद से उत्तराखंड में सियासी हलचल तेज है। इसी बीच भाकपा-माले के गढ़वाल सचिव इंद्रेश मैखुरी ने कहा है कि विधानसभा अध्यक्ष द्वारा विधानसभा में हुई 250 नियुक्तियां निरस्त किये जाने से स्पष्ट है कि नियुक्तियां बिना किसी वैधानिक प्रक्रिया के की गयी इसलिए ये नियुक्तियां भ्रष्टाचार की श्रेणी में आती हैं। उन्होंने कहा कि इसे देखते हुए कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल को तत्काल मंत्रिमंडल से बर्खास्त कर दिया जाना चाहिए।
कहा है कि इस संदर्भ में उन्होंने 19 सितम्बर को विधानसभा अध्यक्ष को पत्र लिख कर कहा था कि विधानसभा के पूर्व अध्यक्षों द्वारा जितनी भी नियुक्तियां की गयी हैं, वे बिना पारदर्शिता के हैं और उनमें भाई भतीजावाद हुआ है। इसलिए इस मामले में अवैध नियुक्ति करने वाले पूर्व अध्यक्षों के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम-1988 तथा अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति अत्याचार निवारण अधिनियम-1989 के तहत मुकदमा दर्ज किया जाए।
उन्होंने कहा है कि वर्ष 2000 से 2011 तक की नियुक्तियों को भी इस दायरे में लाते हुए मुकदमा दर्ज किया जाए। उन्होंने है कहा है कि पूर्व विधानसभा अध्यक्ष और वर्तमान संसदीय कार्य मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल द्वारा विधानसभा में की गयी नियुक्तियों में भ्रष्टाचार होने की पुष्टि विधानसभा अध्यक्ष की कार्यवाही से हो गयी है, इसलिए अग्रवाल को तत्काल मंत्रिमंडल से बर्खास्त किया जाए ।