यूपी चुनाव : बिजनौर की धामपुर विधानसभा सीट में टिकट को लेकर बसपा में हंगामा, हाजी शमसुद्दीन राइन का समर्थकों ने किया घेराव
बिजनौर की धामपुर विधानसभा सीट में अलग-अलग पार्टियों में टिकट को लेकर उठापटक का दौर जारी है।
जनता से रिश्ता वेबडेस्क । बिजनौर की धामपुर विधानसभा सीट में अलग-अलग पार्टियों में टिकट को लेकर उठापटक का दौर जारी है। पहले समाजवादी पार्टी में इस विधानसभा से टिकट को लेकर घमासान हुआ और अब बहुजन समाज पार्टी के टिकट को लेकर हंगामा बरपा है। इसी क्रम में बुधवार सुबह को हाजी कमाल के समर्थकों ने बसपा के कद्दावर नेता और पश्चिम उत्तर प्रदेश प्रभारी हाजी शमसुद्दीन राइन का घेराव किया और हंगामा किया।
हालात ये हुए कि उनकी सुरक्षा के मद्देनजर एसडीएम और सीओ के अलावा पुलिस फोर्स को वहां पहुंचना पड़ा और उन्हें वहां से निकाला गया। मौके के कई वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हो गए, हालांकि इन वीडियो में हाजी कमाल लोगों को हंगामा करने से रोकते और समझाते हुए दिखाई दे रहे हैं।
दरअसल, बसपा की ओर से हाजी कमाल अहमद को धामपुर विधानसभा सीट से प्रत्याशी घोषित कर दिया गया था। इस बारे में बसपा के नाम से जो लिस्ट सर्कुलेट की गई थी उसमें भी हाजी कमाल अहमद का नाम था, लेकिन पिछले दिनों समाजवादी पार्टी से धामपुर विधानसभा से पूर्व विधायक और पूर्व मंत्री मूलचंद चौहान को भी टिकट नहीं मिला।
मंगलवार शाम को यह बात सोशल मीडिया और लोगों में फैल गई कि मूलचंद चौहान हाथी पर सवार हो गए हैं और धामपुर सीट पर बसपा के टिकट से चुनाव लड़ेंगे, हालांकि इस बारे में कोई अधिकारिक घोषणा तो नहीं हुई लेकिन ऐसा होने से हाजी कमाल अहमद के समर्थकों में नाराजगी फैल गई।
बुधवार को बहुजन समाज पार्टी के पश्चिम उत्तर प्रदेश प्रभारी शमसुद्दीन राइन धामपुर पहुंचे थे। जब वह सांसद गिरीश चंद के आवास पर थे तो वहां हाजी कमाल के समर्थकों ने हाजी कमाल अहमद को पार्टी सिंबल देने की मांग करते हुए हंगामा शुरू कर दिया और हाजी कमाल जिंदाबाद के नारे लगाने लगे। भीड़ में जिस तरह युवा हंगामा कर रहे थे उससे शमसुद्दीन राइन के लिए स्थिति कुछ असहज बनी।
मौके पर एसडीएम विजय वर्धन तोमर, सीओ अजय कुमार अग्रवाल और कोतवाल पीके सिंह भी पहुंचे। अधिकारियों ने शमसुद्दीन राइन को हंगामा कर रही भीड़ से निकाल बाहर किया। कोतवाल धामपुर पीके सिंह ने बताया कि उन्हें हंगामा और प्रदर्शन की सूचना मिली थी। पार्टी टिकट को लेकर कार्यकर्ता हंगामा कर रहे थे। शमसुद्दीन राइन को वहां से निकाला गया।