अखिलेश और ओवैसी पर केस चले या नहीं, इस पर जिला अदालत में आज पेश होगी पत्रावली

हिंदुओं के धार्मिक मामलों और स्वयंभू लार्ड विश्वेश्वर पर टिप्पणी के मामले में सपा प्रमुख अखिलेश यादव और एआईएमआईएम चीफ असदुद्दीन ओवैसी पर केस चले या नहीं, इस संबंध में लंबित आवेदन पर बृहस्पतिवार को सुनवाई नहीं हो सकी।

Update: 2022-06-03 03:27 GMT

फाइल फोटो 

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। हिंदुओं के धार्मिक मामलों और स्वयंभू लार्ड विश्वेश्वर पर टिप्पणी के मामले में सपा प्रमुख अखिलेश यादव और एआईएमआईएम चीफ असदुद्दीन ओवैसी पर केस चले या नहीं, इस संबंध में लंबित आवेदन पर बृहस्पतिवार को सुनवाई नहीं हो सकी। अधिवक्ता अनिल मिश्र के निधन के कारण सुनवाई टल गई। अपर मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट पंचम उज्ज्वल उपाध्याय की अदालत में अब शुक्रवार को इस मामले से जुड़ी पत्रावली पेश की जाएगी।

वादी हरिशंकर पांडेय की तरफ से शृंगार गौरी ज्ञानवापी सर्वे में सहायक कोर्ट कमिश्नर अजय प्रताप सिंह, घनश्याम मिश्र और साधना सिंह ने वकालतनामा दाखिल किया है। वाद दाखिल करने वाले अधिवक्ता हरिशंकर पांडेय ने 30 मई को अदालत में इस मामले जुड़े और साक्ष्य देने के लिए समय की मांग की थी, जिस पर कोर्ट ने दो जून की तिथि सुनवाई के लिए तय की थी।
अखिलेश और ओवैसी सहित सात नामजद व अज्ञात के खिलाफ धार्मिक भावनाएं आहत करने का मुकदमा सुनवाई योग्य है या नहीं इस पर शुक्रवार को सुनवाई होगी। इसके अलावा ज्ञानवापी में मिले शिवलिंग स्थल पर वजू करने के मामले में मुकदमा दर्ज करने के आवेदन पर भी सुनवाई होने वाली है।
ये है पूरा मामला
ज्ञानवापी परिसर में शिवलिंग मिलने के दावे के बाद अपर मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट पंचम की अदालत में सीआरपीसी की धारा 156-3 में आवेदन देकर कहा गया है कि सपा मुखिया अखिलेश यादव और सांसद असदुद्दीन ओवैसी व उनके भाई ने लगातार हिंदुओं के धार्मिक मामलों और स्वयंभू लार्ड विश्वेश्वर के खिलाफ अपमानजनक बातें कीं।
आरोप लगाया गया कि पूरे मामले की साजिश में अंजुमन इंतजामिया मसाजिद कमेटी, शहर काजी, शहर के उलेमा और 200 अज्ञात ने धार्मिक भावनाओं को आहत करने का प्रयास किया। धार्मिक भावनाओं को आहत करने के आरोप में मुकदमा दर्ज कर विवेचना की मांग की गई है।
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