Uttar Pradesh: यूपी के इन जिलों में बारिश के चलते स्‍कूल बंद

Update: 2024-07-08 06:04 GMT

Uttar Pradeshउत्तर प्रदेश:  के कई अफसरों में गंभीर जलन हो रही है। मौसम विभाग ने अगले दो दिन भारी बारिश का आधिकारिक आदेश जारी किया है। इस बीच, बरेली, शाहजहांपुर और पीलीभीत में आठवीं तक के स्मार्ट स्कूल बंद कर दिए गए हैं। डेम का आदेश जारी होने के बाद बच्चों के सैकड़ों को गुप्त बंद होने के बारे में सूचना दी गई है। बरेली में डीएम द्वारा जारी आदेश में कहा गया है कि अत्यधिक और लगातार हो रही बारिश को ध्यान में रखते हुए जिले में कक्षा 1 से 8 तक के सभी परिषदीय कार्यभार, राजकीय, आशासकी सहायता प्राप्त की जाएगी और समस्त बोर्डो से मान्यता प्राप्त होगी। घोषित किया जाता है। वहीं, शाहजहांपुर में सभी बोर्ड के कक्षा एक से आठवीं तक के स्कूलों को नौ जुलाई तक बंद रखने का आदेश दिया गया है। बीएसए ने बताया कि भगवान के निर्देश पर सोमवार और मंगलवार को कोई विशेष कार्य नहीं खुलेंगे। इस बारे में सभी सचिवों को आदेश जारी किया गया है।

वहीं, पीलीभीत में भी बारिश के चलते आज यानी 8 जुलाई को कक्षा एक से आठवीं तक के स्कूलों को बंद रखा गया है। स्वेकूलों ने सभी बच्चों और बुजुर्गों को इसकी सूचना दी है। छह दिनों की बारिश के बाद बरेली के कई इलाकों में बाढ़ जैसे हालात बन गए हैं। हजियापुर, संजय नगर, सिकलापुरsiklapur, दुर्गानगर, अशोकनगर, सुभाषनगर जैसे अनेक वार्डों के कई इलाके पानी में डूबे हुए हैं। यहां जलनीकासी पूरी तरह बंद है। कई लोग सोफे के टुकड़ों के यहां चले गए तो कुछ जाने की सोच रहे हैं। जो यहां हैं, वे घरों में कैद हैं। हालात इतने बुरे हो गए हैं कि सड़क पर, धूल में जमा पानी दुर्गंध देने लगा है। अब हालातों की आशंका सताने लगी है। शाहजहांपुर में भी एक हफ्ते से हो रही बारिश से नदियों के जलस्तर में बढ़ोतरी हुई है।

इसको लेकर जिला प्रशासन की ओर से गंगा, रामगंगा, गररा और खन्नौत नदी के किनारे बसे इलाकों के लोगों को रहस्यमयी और संवेदनशील अधिकारियों को अधिकारी रहने को कहा गया है। कलान, जलालाबाद तहसील में सबसे ज्यादा बाढ़ का खतरा बना हुआ है। वहां प्रशासन की ओर से स्थापित बाढ़ चौकियों को सक्रिय कर दिया गया है। बाढ़ नियंत्रण कक्ष एवं जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की ओर से इन चौकियों की दैनिक रिपोर्टिंग कर रिपोर्ट शासन कोशश जा रही है। वहीं पीलीभीत में भी बाढ़ जैसे हालात हैं। पहाड़ों पर लगातार हो रही बारिश के कारण बनवासा बैराज से शारदा नदी में दो लाख 34 हजार क्यूसेक पानी छोड़ा गया है। जिस कारण मधोटांडा और हजारा क्षेत्रों में बाढ़ का खतरा बढ़ गया है।

निचले इलाकों में पानी घुसने के कारण प्रशासनAdministration और पुलिस अधिकारियों ने निगरानी को तैनात कर दिया है। इसके अलावा दुनिया भर में देवाहा नदी में पांच हजार क्यूसेक पानी जारी होने और शहर में लगातार बारिश होने के कारण देवाहा और खकरा नदी भी उफान पर है। हालांकि दोनों नदियां खतरे के निशान से अभी नीचे बह रही हैं। वहीं लखीमपुर खीरी जिले में दो दिन से लगातार हो रही बारिश ने रेलवे के ट्रेन संचालन पर असर डाला है। मैलानी-नानपारा मीटरगेज रूट पर जलभराव होने से चार पैसेंजर ट्रेनें चलती हैं जबकि दो भागों की दूरी कम कर दी गई है। मैलानी-लखनऊ ब्रॉडगेज रेल मार्ग के ट्रैक पर पेड़ गिरने से होने वाले नुकसान का परिचालन लगभग सात घंटे रुका रहा है। मैलानी-नानपारा सेक्शन पर यात्रियों की सुरक्षा को देखते हुए रविवार को चलने वाली चार गाड़ियां हटा दी गईं और दो इलाकों की दूरी कम कर दी गई।

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