छह माह रेकी, 100 वेब सीरीज देख की वारदात
एसएसपी और दो एसपी कर रहे थे मॉनिटरिंग
मेरठ: ब्रह्मपुरी डबल मर्डर और लूट की वारदात अंजाम देने वाले दोनों आरोपी पिछले छह माह से रेकी कर रहे थे. रोजाना ही परिवार के सदस्यों की रेकी और निगरानी की जा रही थी. परिवार के सदस्यों के घर से बाहर जाने और वापस आने का पूरा चार्ट बनाया गया था.
चूंकि पौरूष पूर्व में डीके जैन के घर के पास ही कॉस्मेटिक की दुकान चलाता था, इसलिए उसके लिए रेकी करना और भी आसान हो गया था. आरोपी ने अपने साथी के साथ मिलकर 100 से ज्यादा वेब सीरीज देखी और लूट के लिए फुलप्रूफ प्लान बनाया .
पुलिस अधिकारियों ने डीके जैन और उनकी पत्नी अंजू जैन की हत्या कर लूट की वारदात का देररात खुलासा कर दिया. इस वारदात को अंजाम देने वाले दोनों आरोपी पौरूष और यशु निवासीगण प्रेमपुरी को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है. खुलासा किया गया कि पौरूष लॉ का छात्र है और और उसका मकान प्रेमपुरी में है. वहीं, यशु एक बैटरी की दुकान पर काम करता है और किराए के मकान में रहता प्रेमपुरी में ही रहता है. पौरूष और यशु पुराने परिचित हैं. दोनों ने मिलकर ही धनकुमार जैन के घर पर लूट करने की योजना बनाई थी. पौरूष धन कुमार जैन के घर के पास ही पूर्व में कॉस्मेटिक की दुकान चलाता था और इसी के चलते रेकी शुरू कर दी थी. पुलिस अधिकारियों ने खुलासा किया कि लूट के लिए पिछले करीब छह माह से रेकी की जा रही थी. जैन परिवार के हर सदस्य पर निगरानी थी और सुबह से लेकर रात तक कौन सदस्य घर से कब बाहर जा रहा था और कब वापस आता था, इसका चार्टबनाया था. वारदात अंजाम देने से पहले आरोपियों ने करीब 100 से ज्यादा वेब सीरीज देखी और पुलिस को गुमराह करने का प्रयास किया. हालांकि आरोपियों को पुलिस ने देररात दबोच लिया.
हंगामे के दौरान भिड़ गए थे व्यापारी
डीके जैन के घर के बाहर हंगामा और विरेाध प्रदर्शन के दौरान लोगों में आपस में ही मामूली कहासुनी हो गई थी. इस दौरान समझाबुझा कर मामला शांत किया गया. इसके बाद शव को अंतिम संस्कार के लिए ले जाया गया.
एसएसपी और दो एसपी कर रहे थे मॉनिटरिंग
इस पूरे मामले में एसएसपी रोहित सिंह सजवाण, एसपी सिटी पीयूष सिंह और एसपी क्राइम अनित कुमार खुद जांच और मॉनिटरिंग कर रहे थे. अफसरों ने एसओजी ऑफिस, सर्विलांस कार्यालय और थाने पर ही डेरा डाल दिया था. अफसर हर अपडेट को लेकर आला अधिकारियों और शासन को जानकारी दे रहे थे. वहीं, इस मामले में जल्द से जल्द खुलासे का दबाव बढ़ गया था.
शातिर बदमाश घटनास्थल पर नहीं चलाया मोबाइल
पुलिस की तफ्तीश में खुलासा हुआ है कि कातिल लुटेरों ने घटनास्थल पर मोबाइल का इस्तेमाल नहीं किया. जो भी सीसीटीवी पुलिस को मिली हैं, उनमें आरोपियों के चेहरे नहीं दिखाई दे रहे थे. ऐसे में पहचान भी नहीं हो पा रही थी.