50 हजार क्रेडिट कार्ड धारकों पर बकाया न देने पर कार्रवाई की तैयारी

50 हजार डिफॉल्टर क्रेडिट कार्ड धारकों पर बैंकिंग कंपनियों का करीब 25 करोड़ रुपये की देनदारी है

Update: 2024-05-24 11:14 GMT

नोएडा: शहर में करीब 50 हजार क्रेडिट कार्ड धारकों ने समय पर धनराशि का भुगतान नहीं किया है. इससे क्रेडिट कार्ड की बैंकिंग कंपनियों की परेशानी बढ़ गई है. अब क्रेडिट कार्ड कंपनियां ऐसे लोगों को नोटिस भेज रही है. इसके साथ ही डिफॉल्टर घोषित करने जा रही है. ताकि अन्य बैंकिंग कंपनियां ऐसे लोगों से सतर्क हो सके. इन 50 हजार डिफॉल्टर क्रेडिट कार्ड धारकों पर बैंकिंग कंपनियों का करीब 25 करोड़ रुपये की देनदारी है.

जिले में करीब 50 बैंकों की छह सौ से अधिक बैंक शाखाओं में 12 लाख से अधिक बैंक खाते हैं. इनमें करीब लाख बैंक खाता धारकों ने डेबिड कार्ड ले रखा है. वहीं लाख लोगों ने 12 लाख से अधिक क्रेडिट कार्ड ले रखा है. बैंकों के अनुसार जिले में एक व्यक्ति ने कई बैंकों के क्रेडिट कार्ड ले रखे हैं. ऐसे में क्रेडिट कार्ड का चलन लगातार बढ़ता रहा है. वहीं क्रेडिट कार्ड का प्रयोग करने के बाद कुछ लोगों द्वारा उस राशि का भुगतान भी नहीं किया जा रहा है. बैंकों के अनुसार ऐसे लोगों की संख्या करीब 50 हजार है. जिले में ऐसे करीब 50 हजार क्रेडिट कार्ड धारक है. इन क्रेडिट कार्ड धारकों पर बैंकों की देनदारी करीब 25 करोड़ रुपये की है. इन पर करीब एक रुपये से लेकर एक लाख रुपये तक के धनराशि बकाया है. इस राशि की वसूली के लिए बैंकिंग कंपनियां अपनी लीगल टीम का सहारा ले रही है. ऐसे डिफॉल्टों को नोटिस भेजकर रुपये जमा करने के मांग की जा रही है. इसके साथ ही ऐसे लोगों की सूचना भी सर्वानजिक की जा रही है] ताकि दूसरी बैंकिंग कंपनियां ऐसे लोगों का कार्ड जारी नहीं करें.

कार्ड की ईएमआई का भुगतान भी नहीं किया; इन 50 हजार डिफॉल्टर में ऐसे भी डिफॉल्टर है, जिन्होंने कार्ड से किसी सामान की खरीदारी कर ली है. इसके बाद ईएमआई बनवा ली है. फिर कुछ महीने ईएमआई का समय पर भुगतान किया. इसके बाद कई महीनों से ईएमआई का भुगतान ही नहीं किया है. ऐसे लोग भी डिफॉल्टर की श्रेणी में है.

क्रेडिट कार्ड का चलन लगातार बढ़ता जा रहा है. लोग क्रेडिट कार्ड का भुगतान ईएमआई के माध्यम से भी कर रहे हैं. इसके साथ ही क्रेडिट कार्ड के डिफॉल्टर भी आ रहे हैं. ऐसे लोगों से वसूली के लिए बैंकिंग कंपनियां कानूनन कार्य कर रही है. -विद्युर भल्ला, प्रबंधक, जिला अग्रणी बैंक.

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