13 वर्षों बाद मेगा लेदर क्लस्टर बनने का रास्ता साफ
सुरक्षित श्रेणी की जमीन से अदला-बदली आसानी से हो जाएगी
कानपूर: रमईपुर में मेगा लेदर क्लस्टर बनाने का रास्ता 13 वर्षों बाद साफ हो गया है. सुरक्षित श्रेणी की 34 हेक्टेयर जमीन के बदले में एसपीवी (स्पेशल परपज व्हीकल) ने तीन गांव में जमीन खरीद ली है. सुरक्षित श्रेणी की जमीन से अदला-बदली आसानी से हो जाएगी. इस बार .17 करोड़ की जमीन के बदले में .19 करोड़ की जमीन एसपीवी दे रही है. प्रस्ताव बनाकर शासन को भेजा जा रहा है.
मेगा लेदर क्लस्ट बनाने में 34 हेक्टेयर सुरक्षित श्रेणी की जमीन बाधा बन रही है. दरअसल, सामान्य श्रेणी की भूमि एसपीवी को जिला प्रशासन से अदला-अदली करनी है. जमीन की अदला-बदली न होने से यह प्रोजेक्ट फंसा है. एसपीवी के प्रस्ताव चार बार खारिज हो चुके हैं. एसपीवी ने इस बार सपई, कडरी चंपतपुर और देहली सुजानपुर गांव में 34 हेक्टेयर जमीन .19 करोड़ की खरीद ली है. उससे ही प्रशासन की जमीन से अदला बदली होगी. अब डीएम के आदेश पर प्रस्ताव बनकर तैयार हो गया है. जल्द शासन को भेजा जाएगा. स्वीकृत होने के बाद 98 हेक्टेयर की जमीन पर मेगा लेदर क्लस्टर बनेगा.
चमड़ा उद्योग को ऊंचाई देगा: मेगा लेदर क्लस्टर में जूते, सैडलरी की फ्लैटेड इकाइयां लगेंगी. यहां पर 5850 हजार करोड़ रुपये के निवेश प्रस्ताव आए हैं. इससे ढाई लाख लोगों को प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष तौर पर रोजगार मिल सकेगा.
13 हजार करोड़ का कारोबार : प्रोजेक्ट में 175 टेनरियां भी खुलनी हैं. 70 फीसदी उद्योग, 30 फीसदी ग्रीन बेल्ट होगी. एमएलडी क्षमता वाली ट्रीटमेंट प्लांट लगेगा. प्रदर्शनी स्थल, कॉमन फैसिलिटी सेंटर जैसी सुविधाएं मिलेंगी. प्रोजेक्ट पूरा होने पर इससे 13 हजार करोड़ का सालाना व्यापार हो सकेगा.
अदला-बदली की प्रक्रिया पूरी होगी
एसपीवी ने सुरक्षित श्रेणी की जमीन की अदला-बदली के लिए भूमि ले ली है. प्रस्ताव तैयार हो रहा है. उसे जल्द भेजा जाएगा. मंजूरी आते ही अदला-बदली की प्रक्रिया पूरी होगी. इससे क्लस्टर बनाने में काफी सुविधा होगी.
-राजेश कुमार, एडीएम फाइनेंस