Noida: स्कूल प्रबंधन ने प्रिंसिपल और हेड मिस्ट्रेस को डिजिटल रेप मामले में निलंबित किया

मामले की जांच के लिए जिलाधिकारी ने एक कमेटी बनाई

Update: 2024-11-05 07:27 GMT

नोएडा: सेक्टर-27 स्थित निजी स्कूल में पढ़ने वाली बच्ची से डिजिटल दुष्कर्म के मामले में स्कूल प्रबंधन ने प्रिंसिपल और हेड मिस्ट्रेस को निलंबित कर दिया. मामले में दोनों की लापरवाही सामने आई है. 100 से ज्यादा अभिभावकों के स्कूल के सामने विरोध-प्रदर्शन के बाद प्रबंधन ने यह निर्णय लिया. दूसरी ओर, मामले की जांच के लिए जिलाधिकारी ने एक कमेटी बनाई है.

सेक्टर-27 के एक निजी स्कूल में बच्ची से हुई डिजिटल दुष्कर्म की घटना के बाद से स्कूल में पढ़ने वाले बच्चों के अभिभावकों में घटना को लेकर आक्रोश है. उन्हें अपने बच्चों की सुरक्षा को लेकर चिंता बढ़ गई है. इस बीच मामले में स्कूल की तरफ से लापरवाही करने की बात सामने आई. इससे आक्रोशित 150 से अधिक अभिभावक सुबह आठ बजे स्कूल के गेट के सामने आ गए. उन्होंने प्रबंधन से मिलने की मांग की. इसके बावजूद प्रबंधन की तरफ से कोई भी मिलने के लिए तैयार नहीं हुआ. स्कूल के गेट को भी बंद कर दिया गया. इसके बाद अभिभावक स्कूल के सामने जमकर प्रदर्शन और हंगामा करने लगे.

इसके बाद सभी लोग सेक्टर 27 स्थित डीएम ऑफिस पहुंच गए. इस दौरान उनकी डीएम मनीष कुमार वर्मा से बातचीत हुई. उन्होंने मामले की जानकारी अन्य अधिकारियों से ली. इसके बाद डीआईओएस और एडीसीपी नोएडा के साथ अन्य अधिकारी मौके पर पहुंचे. उनकी मौजूदगी में अभिभावकों और परिजनों की बातचीत हुई.

बातचीत में अभिभावकों ने स्कूल प्रबंधन से मुख्य मांगों में बच्ची के साथ हुई घटना में शामिल सभी आरोपियों पर सख्त कार्रवाई करने की मांग की.

इसके अलावा स्कूल के सभी स्थानों पर सीसीटीवी कैमरे को लगाने और उसका एक्सेस अभिभावकों को देने की मांग की. अभिभावकों ने प्रबंधन से जूनियर विंग में सभी जगहों पर महिला कर्मचारियों को तैनात करने के साथ ही कई अन्य मांगें की.

एक हफ्ते में पूरी होगी मांगें मामले में अभिभावकों के साथ दोपहर दो बजे प्रबंधन के साथ हुई बैठक के दौरान मामले में प्रिंसिपल और हेड मिस्ट्रेस की तरफ से लापरवाही करने पर उनको तत्काल निलंबित कर दिया गया. वहीं प्रबंधन की तरफ से एक हफ्ते के अंदर स्कूल में सुरक्षा व्यवस्था को पुख्ता करने के लिए कहा गया है. इसके साथ ही अभिभावकों के द्वारा बैठक के दौरान उठाई गई सभी मांगों एक हफ्ते में पूरी करने के लिए कहा गया है.

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