तीन करोड़ बिजली उपभोक्ताओं के बदलेंगे मीटर, यूपी के सभी घरों में लगेंगे स्मार्ट प्रीपेड मीटर
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प्रदेश के तीन करोड़ उपभोक्ताओं के यहां प्रीपेड मीटर लगाने का रास्ता साफ हो गया है। उत्तर प्रदेश पावर कॉर्पोरेशन और केंद्रीय ऊर्जा मंत्रालय के बीच इसको लेकर सहमति बन गई है। हालांकि अभी तक यह नहीं तय किया गया है कि जो भी मीटर लगेंगे वह नई तकनीक के ही होंगे।
इसके अलावा लखनऊ समेत प्रदेश के अलग- अलग शहरों में लगे 12 लाख पुराने स्मार्ट मीटर को बदला जाएगा। उन उपभोक्ताओं के यहां भी फोर जी तकनीक पर आधारित मीटर लगेगा। इन उपभोक्ताओं की शिकायत थी कि नया मीटर काफी तेज चलता है। इसकी वजह से बिजली का बिल भी ज्यादा आता है।
कस्टमर का जमा पैसा बिल में जोड़ा जाए
पोस्ट पेड कनेक्शन में उपभोक्ता को प्रति किलोवाट के हिसाब से एक निश्चित राशि उपभोक्ता जमा करता है। स्मार्ट मीटर लगने के बाद पूरी व्यवस्था प्रीपेड हो जाएगी। ऐसे में कनेक्शन के दौरान जमा राशि का प्रीपेड के बिल में जोड़ने की मांग की जा रही है। दलील है कि तीन करोड़ उपभोक्ताओं का पैसा काफी ज्यादा है। काफी समय से पावर कॉर्पोरेशन इसका ब्याज मारे हुए है। यह पैसा 3665 करोड़ रुपए सिक्योरिटी मनी जमा है।
मानक को पूरा करने वाला हो मीटर
उपभोक्ता परिषद के अध्यक्ष का कहना है कि मीटर चाहे जिस कंपनी का हो, लेकिन वह सभी मानकों को पूरा करने वाला होना चाहिए। उसका वीआईएस सर्टिफिकेट पूरी तरीके से हर मुद्दे पर पास होना चाहिए। उपभोक्ता परिषद के संज्ञान में आया है कि उत्तर प्रदेश में जो स्मार्ट प्रीपेड मीटर लगने की बात हो रही है उस स्मार्ट प्रीपेड मीटर में बीआईएस सर्टिफिकेट के स्तर पर मीटर में कुछ फंक्शनल प्रॉब्लम सामने आई है। ऐसे में इस मुद्दे को गंभीरता से लेते हुए पूरी व्यवस्था पारदर्शी तरीके से पास कराना होगा।