उत्तरप्रदेश: उत्तर प्रदेश के लखनऊ में बीएसपी सुप्रीमो मायावती ने लोकसभा चुनाव की तैयारियों को लेकर अहम बैठक की. इस बैठक में पार्टी के वरिष्ठ पदाधिकारियों, जिला अध्यक्षों और अन्य लोग शामिल हुए. बैठक में बीएसपी प्रमुख मायावती ने आगामी लोकसभा आमचुनाव अकेले अपने बूते पर लड़ने को लेकर संगठन को कैडर और छोटी-छोटी बैठकों के आधार पर गाव-गांव में मजबूत बनाने को लेकर दिखा निर्देश दिए.
मायावती ने सर्वसमाज में जनाधार को बढ़ाने को लेकर यूपी में पार्टी के वरिष्ठ पदाधिकारियों, प्रभारियों और अन्य जिम्मेदार लोगों के साथ बैठक में दिशा-निर्देशों की प्रगति रिपोर्ट की गहन समीक्षा की. उन्होंने कमियों को दूर करने का निर्देश देते हुए पूरे तन, मन, धन से लोकसभा आमचुनाव में जुटने को निर्देश दिए. बीएसपी उम्मीदवार के चयन में उन्होंने खास सावधानी बरतने का भी निर्देश दिया.
BSP सुप्रीमो मायावती ने कहा कि बीएसपी को यूपी में गठबंधन करके लाभ के बजाय नुकसान ज्यादा उठाना पड़ा है, क्योंकि बीएसपी का वोट स्पष्ट तौर पर गठबंधन वाली दूसरी पार्टी को ट्रांसफर हो जाता है, लेकिन दूसरी पार्टियां अपना वोट बीएसपी उम्मीदवारों को ट्रान्सफर कराने की न सही नीयत रखती हैं और न ही क्षमता, जिससे पार्टी के लोगों का मनोबल प्रभावित होता है. इस कारण बीएसपी सत्ता और विपक्ष दोनों गठबंधनों से अलग और दूर रहती है.
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विपक्ष पर निशाना साधते हुए उन्होंने कहा कि बीजेपी की संकीर्ण, जातिवादी और साम्प्रदायिक राजनीति के कारण सभी लोग त्रस्त है. इस कारण भाजपा अपना प्रभाव ही नहीं बल्कि अपना जनाधार भी लगातार खो रही है. यह प्रक्रिया आगे जारी रहने वाली है, जिससे लोकसभा का चुनाव यूपी में एकतरफा न होकर काफी दिलचस्प और देश की राजनीति को नया करवट देने वाला साबित होगा.