गली-गली खुले बिजली के पैनल बॉक्सों से झांक रही ‘मौत’
शहर में 90 प्रतिशत बॉक्स खुले हैं
वाराणसी: बिजली के लटकते तार और खुले पैनल बॉक्स लोगों की जान का खतरा बने हुए हैं. शहर में 90 प्रतिशत बॉक्स खुले हैं. उनके ढक्कन गायब हो चुके हैं. बॉक्स के आसपास नंगे तार बाहर निकल आए हैं. अक्सर बॉक्सों में स्पॉर्किंग होती है. वहीं, विभाग ने कई पैनल बॉक्सों को कॉर्टन से ढंक दिया है. उन्हें सुतली या प्लास्टिक की रस्सी से बांध दिया है.
बेनिया, चेतगंज, मैदागिन, लंका, रामकटोरा, चौकाघाट, सिगरा, शिवाला, मदनपुरा, दुर्गाकुंड, मालवीय मार्केट, कबीरनगर, विश्वेश्वरगंज, प्रह्लादघाट, पियरी, गोदौलिया, गिरजाघार, कमच्छा आदि क्षेत्रों में खुले पैनल बॉक्स से आसपास रहने वालों के अलावा राहगीरों पर खतरा बना रहता है. नोडल अधिकारी और अधीक्षण अभियंता अनूप सक्सेना का दावा है कि पैनल बॉक्स बंद किए जा रहे हैं. वहीं, शहर के कई क्षेत्रों में ट्रांसफार्मरों के नीचे कहीं चाय तो कहीं खानपान की दुकानें हैं. दुकानदार न सिर्फ खुद की बल्कि ग्राहकों की जान भी खतरे में डाल रहे हैं. अधिकारी इसे अनदेखा कर रहे हैं. गिरजाघर चौराहे पर पुलिस बूथ के सामने बिजली के ट्रांसफार्मर के नीचे फास्टफूड से लेकर चायपान की दुकानें खुली हैं. गीता मंदिर के पास लगे ट्रांसफार्मर के नीचे भी इडली-दोसा की दुकान लगती है.
आदमपुर रोड
इस रोड पर किसी ट्रांसफार्मर की फेंसिंग टूटी है तो कोई चारों ओर से खुला है. ट्रांसफार्मर के आसपास कई दुकानें चलती हैं. शाम के वक्त वहां लोगों का जमघट लगा रहता है.
रामकटोरा चौराहा
ट्रांसफार्मर के नीचे लोहे की गुमटी रखी है. दुकानदार सिगरेट और पान मसाला बेचता है. यहां हमेशा भीड़ लगी रहती है. शाम में कई दुकानें लग जाती हैं. इसी रोड पर कई पैनल बॉक्स खुले हुए हैं.
रेवड़ी तालाब
यहां दो ट्रांसफार्मर के नीचे फल और खाने-पीने के सामानों के कई ठेले खड़े रहते हैं. सुबह और शाम को यहां सामान खरीदने वालों की भारी भीड़ लगती है. रास्ता जाम हो जाता है. दोनों ट्रांसफार्मरों से तेल टपकता रहता है.