इलाहाबाद न्यूज़: ऑनलाइन सामान मंगाने पर जैसे ओटीपी बताने पर सामान डिलेवर किया जाता है, ठीक इसी तर्ज पर अब रसोई गैस सिलेंडर दिया जाएगा. रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर से सिलेंडर बुक करने पर आपके मोबाइल पर पहले बुकिंग का नंबर आएगा. जैसे ही एजेंसी आपका कैश मेमो बनाएगी, तत्काल रजिस्ट्रेशन नंबर के साथ चार डिजिट का डिलेवरी एथेंटिकेशन कोड (डीएसी) भी मोबाइल नंबर पर आएगा. डिलेवरी लेने के दौरान डिलेवरी मैन को यह नंबर बताना अनिवार्य होगा. इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन ने इसे अनिवार्य कर दिया है.
इस योजना को लागू करने का मूल उद्देश्य रसोई गैस की कालाबाजारी रोकना है. तमाम उपभोक्ताओं ने डिलेवरी न होने की शिकायत दर्ज कराई. ऐसा पाया गया कि रसोई गैस किसी उपभोक्ता ने बुक कराया और सिलेंडर की डिलेवरी दूसरे उपभोक्ता को कर दी गई. लगातार बढ़ती शिकायतों के कारण आईओसी ने इस नियम को अनिवार्य कर दिया है.
ऑल इंडिया एलपीजी डिस्ट्रीब्यूटर्स फेडरेशन (प्रयागराज मंडल) के महासचिव मोहित कुमार मिश्र ने बताया कि यह व्यवस्था पहले लागू थी, लेकिन इसका पूरी तरह से पालन नहीं किया जा रहा था. अब इसे अनिवार्य कर दिया गया है. रसोई गैस की डिलेवरी बिना डीएसी नंबर बताए नहीं होगी.
क्रेन ने रोक दिया हजारों की आबादी का रास्ता
करेली के लेबर चौराहे के सामने वाली सड़क पर अजीब वाक्या हुआ. एक हफ्ते पहले एक क्रेन किसी वाहन को खींचने के लिए लाई गई थी. क्रेन अचानक खराब हो गई तो चालक उसे वहीं छोड़कर चला गया. रोड के बीच क्रेन खड़ी होने से रास्ता बंद हो गया. बाइक भी मुश्किल से निकल पा रही है. क्षेत्रीय लोग इससे काफी परेशान हैं. लोगों ने करेली थाने में सूचना दी. पुलिस कंट्रोल रूम को अवगत कराया, लेकिन अब तक क्रेन नहीं हटाई गई.