साइबर अपराधियों ने महिला डॉक्टर को डिजिटल अरेस्ट कर 45 लाख ऐंठे

मामले में नाइजीरियन गिरोह पर शक जाहिर किया जा रहा है

Update: 2024-05-23 09:03 GMT

नोएडा: साइबर अपराधियों ने मुंबई से थाईलैंड भेजे गए पार्सल में ड्रग्स और फर्जी पासपोर्ट होने का डर दिखाकर बुजुर्ग महिला चिकित्सक को डिजिटल अरेस्ट कर 45 लाख रुपये ऐंठ लिए. पीड़िता ने मामले की शिकायत साइबर क्राइम थाने में दी. मामले में नाइजीरियन गिरोह पर शक जाहिर किया जा रहा है.

दिल्ली न्यू अशोक नगर निवासी डॉ. आरती चौधरी ने बताया कि वह सेक्टर-49 स्थित हेल्थ क्लीनिक में चिकित्सक हैं. बीते छह को आरती के पास अनजान नंबर से साढ़े नौ बजे के करीब कॉल आई. कॉलर ने खुद को फेडेक्स कुरियर सर्विस का कर्मचारी बताते हुए अपना नाम ईशान वर्मा बताया. उसने महिला चिकित्सक से कहा कि उनका जो पार्सल मुंबई से थाईलैंड भेजा गया था, वह वापस आ गया है. पार्सल को कस्टम विभाग ने सीज कर दिया है. पार्सल में पांच पासपोर्ट, दो क्रेडिट कार्ड, चार किलो कपड़े, 140 ग्राम एमडीएमए ड्रग्स मिली है.

कॉलर ने कहा कि पार्सल में ड्रग्स होने की शिकायत मुंबई क्राइम ब्रांच में होगी और महिला के खिलाफ केस दर्ज कर कार्रवाई होगी. इसके बाद कथित फेडेक्स कुरियर कर्मचारी ने कॉल मुंबई क्राइम ब्रांच के लिए ट्रांसफर कर दी. आगे जालसाज ने अपना नाम राजवीर और खुद को मुंबई क्राइम ब्रांच से बताया. पूरी बात सुनने के बाद कहा कि महिला का वीडियो कॉल के जरिए बयान रिकॉर्ड होगा. इसके लिए उसने महिला के मोबाइल में एक ऐप डाउनलोड करवाया, बयान लिए और आधार कार्ड देखा.

जालसाज ने कहा कि जांच में सामने आया है कि आपका एक अकाउंट मनी लॉन्डिंग से संबधित है, इसलिए जांच आगे ट्रांसफर हो रही है. आगे कॉल ट्रांसफर हुई तो तीसरे व्यक्ति ने अपना नाम आदित्य केशव बताया. यह जानकारी दी कि आपकी जांच वीडियो सर्विलांस के जरिए 24 घंटे में निपट सकती है. नहीं तो मुंबई आना होगा और 90 दिनों की कस्टडी होगी. इस पर डॉक्टर डर गई और 24 घंटे में जांच निपटाने के लिए तैयार हो गई.

जानकारी होते ही संपर्क तोड़ा महिला ने जब ट्रांसफर हुई रकम को वापस करने को कहा तो जालसाजों ने संपर्क तोड़ दिया. इसके बाद महिला ने साइबर हेल्पलाइन 1930 और साइबर क्राइम थाने में शिकायत की. थाना प्रभारी ने बताया कि जिन खातों में रकम ट्रांसफर हुई है, उनकी जांच की जा रही है. इस प्रकार की ठगी मुख्यत नाइजीरियन गिरोह द्वारा की जाती है. वहीं, पीड़िता का कहना है कि ठगों ने उनकी वर्षों की जमा पूंजी हड़प ली.

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