MDM बांटने वाली एनजीओ पर होगी कार्रवाई, चार माह से बच्चों को नहीं मिलीं रोटियां

Update: 2022-11-16 18:18 GMT
बरेली। कई महीनों से बच्चों को नगर में कार्यरत एक एनजीओ की ओर से स्कूल के 7500 बच्चों को रोटी, दूध और फल वितरित नहीं किया जा रहा है। बीते 15 नवंबर को इस मामले को अमृत विचार ने प्रमुखता से प्रकाशित किया। मामला उजागर होने पर बीएसए ने एनजीओ के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई कर स्पष्टीकरण मांगा है। साथ ही बीएसए ने इससे पहले रोजाना एमडीएम के भेजे जाने वाले विभागीय ब्योरे के आधार पर विधिवत जांच कर एनजीओ के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई करने की बात कही है।
नगर क्षेत्र के अलग अलग हिस्सों में स्कूलों को निर्धारित मैन्यू के अनुसार भोजन मुहैया कराने के लिए सात एनजीओ को जिम्मेदारी सौंपी गई है। इनमें से रहपुरा चौधरी स्थित एनजीओ के विरुद्ध बीएसए ने कार्रवाई की है। जानकारी के मुताबिक एनजीओ की ओर से स्कूलों में बच्चों को वितरित किया जाने वाला दूध, फल और मुख्य रूप से रोटी मुहैया ही नही कराई जा रही। हालांकि अखबार में खबर प्रकाशित होने के साथ ही एनजीओ ने 16 नवंबर को कई स्कूलों में बच्चों को दूध वितरित किया है।
चार माह से स्कूल के बच्चे खा रहे चावल
एनजीओ संचालक राजवीर ने बताया कि जुलाई से अब तक यानी चार महीनों से गेहूं मिला ही नहीं तो बच्चों को रोटियां कैसे वितरित कराएं । बल्कि गेहूं न मिलने की शिकायत विभाग के एमडीएम समन्वयक और बीएसए से भी कई बार कर चुके हैं। रोजाना एमडीएम को लेकर भरे जाने वाले प्रपत्र में भी गेहूं व रोटी के कालम में शून्य दर्ज किया गया है। गेहूं नहीं मिलने की स्थिति में बच्चों को चावल ही वितरित किया जाता है।
स्कूल में एनजीओ की ओर से निर्धारित मैन्यू के अनुरूप दूध, फल और रोटी मुहैया न कराना बहुत बड़ी लापरवाही है। एनजीओ के खिलाफ विधिवत जांच करा कर कड़ी कार्रवाई की जाएगी। फिलहाल एनजीओ संचालक से स्पष्टीकरण मांगा गया है-

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