यूपी में डीबीटी को लेकर नया फरमान हुआ जारी, तीन से ज्यादा बच्चे हैं तो जांच के बाद ही स्कूल ड्रेस का मिलेगा पैसा

तीन से ज्यादा बच्चे हैं और वे सरकारी स्कूलों में पढ़ते हैं तो डीबीटी की धनराशि देने से पहले सत्यापन किया जाएगा।

Update: 2022-08-15 01:38 GMT

फाइल फोटो 

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। तीन से ज्यादा बच्चे हैं और वे सरकारी स्कूलों में पढ़ते हैं तो डीबीटी की धनराशि देने से पहले सत्यापन किया जाएगा। पहले चरण में 7,15750 ऐसे बैंक एकाउंट हैं जिनकी जांच और सत्यापन के बाद ही डीबीटी की धनराशि दी जाएगी। इनमें 6,44,930 ऐसे हैं जिनके तीन या इससे ज्यादा बच्चे हैं। वहीं करीब 12 लाख ऐसे खातों में भी धनराशि नहीं जा पाई है जो आधार नंबर से सीडेड नहीं है।

पहले चरण में 1,01,84014 बच्चों के खाते में डीबीटी की धनराशि के रूप में 1200 रुपये डाले गए हैं। लेकिन इनमें से 7.15 लाख खातों को संदिग्ध मानते हुए धनराशि नहीं दी गई है। इसमें 6.44 लाख ऐसे खाते हैं जो तीन या इससे ज्यादा बच्चों के ब्यौरे से लिंक हैं। वहीं 70820 ऐसे खाते हैं जिनमें एक से ज्यादा जगह नामांकन दिख रहा है। इन सभी के सत्यापन के बाद ही इन्हें डीबीटी दी जा सकेगी।
पहले चरण में 121502 लाख ऐसे बैंक खाते हैं जिनकी सीडिंग आधार नंबर से नहीं है। आधार कार्ड से सीडिंग करवाने के लिए बेसिक शिक्षा विभाग ने एडवाइजरी जारी की है कि आधार कार्ड का बैंक खाते से लिंक होना और सीडिंग होना, दो अलग-अलग प्रक्रियाएं हैं। अभिभावकों को सीडिंग के लिए बैंक जाना होगा।
ऐसे विद्यार्थी जिनके अभिभावकों का आधार पिछले सत्र 2021-22 मे प्रमाणित किया गया था लेकिन इस सत्र में उनके माता या पिता में से किसी की मृत्यु हो गई हो या वे छात्र-छात्रा के साथ वर्तमान में नहीं रहते हैं तो इस सत्र में उनके आधार कार्ड में संशोधन किया जाएगा। प्रदेश में 1.91 करोड़ बच्चों को यूनिफार्म, जूता-मोजा, स्वेटर, स्कूल बैग खरीदने के लिए सरकार डीबीटी दे रही है।
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