पुलिस के हत्थे चढ़े 6 आरोपी, भूत-प्रेत के शक में बुजुर्ग की पीट-पीटकर हत्या, बेटे की हालत भी नाजुक
उत्तराखंड (Uttarakhand) की एकमात्र राज्यसभा सीट के लिए होने वाले चुनाव में भारतीय जनता पार्टी के प्रत्याशी का जीतना तय है. लेकिन इसके बावजूद अभी तक पार्टी प्रत्याशी के नाम का ऐलान नहीं कर सकी है. राज्यसभा चुनाव (Rajya Sabha elections) के लिए नामांकन करने की तारीख 31 मई है और बताया जा रहा है कि पार्टी 29 या 30 मई को राज्यसभा चुनाव के लिए अपने उम्मीदवार के नाम की घोषणा कर सकती है. राज्यसभा चुनाव के लिए अब तक एक भी नामांकन पत्र नहीं बिका है. फिलहाल राज्यसभा की एकमात्र सीट के लिए राज्य के पूर्व सीएम त्रिवेन्द्र सिंह रावत (Trivendra Singh Rawat) का नाम सबसे आगे चल रहा है.
राज्यसभा चुनाव के लिए चुनाव आयोग ने अधिसूचना जारी कर दी है और 24 मई को राज्यसभा चुनाव के लिए नामांकन प्रक्रिया शुरू हो गई है. विधानसभा सचिव एवं निर्वाचन के अफसरों का कहना है कि अभी तक किसी भी पार्टी या नेता ने नामांकन पत्र नहीं खरीदा है. असल में एक सीट के लिए कांग्रेस मुकाबले में नहीं है जबकि बीजेपी के प्रत्याशी का जीतना तय है. दरअसल उत्तराखंड से कांग्रेस नेता और राज्यसभा सांसद प्रदीप टम्टा का 4 जुलाई को कार्यकाल खत्म होने के बाद यह सीट खाली हो रही है. बीजेपी ने चार दिन पहले ही पार्टी हाईकमान को राज्यसभा में दावेदारों का एक पैनल भेजा है और इसमें पूर्व मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत, भाजपा के प्रदेश महासचिव कुलदीप कुमार और पूर्व उपाध्यक्ष ज्योति गैरोला समेत 10 नाम शामिल हैं.
31 मई है नामांकन की अंतिम तारीख
चर्चा है कि बीजेपी आलाकमान 29 या 30 मई को राज्यसभा उम्मीदवार के नाम की घोषणा कर सकती है. क्योंकि नामांकन पत्र दाखिल करने की अंतिम तिथि 31 मई है और ऐसे में इससे पहले ही पार्टी प्रत्याशी के नाम का ऐलान कर देगी. अभी तक बीजेपी आलाकमान ने किसी भी नेता को हरी झंडी नहीं दी है.
केन्द्रीय मंत्री गोयल और पुरी की भी चर्चा
राज्य से बीजेपी आलाकमान को दस नामों का पैनल भेजा गया गया है. माना जा रहा है कि बीजेपी राज्य से बाहर के किसी भी नेता को राज्यसभा का उम्मीदवार घोषित कर सकती है और इसमें सबसे आगे केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल और हरदीप पुरी का नाम चल रहा है. पीयूष गोयल को उत्तराखंड या महाराष्ट्र में से किसी एक से टिकट मिलने की संभावना है.
सरायख्वाजा थानाक्षेत्र के पोटरिया गांव में रामबचन राजभर औऱ नरेश राजभर पड़ोसी हैं. मृतक रामबचन बटाई पर खेत लेकर परिवार की आजीविका चलाते थे. बताया जा रहा है कि पड़ोस में रहने वाले नरेश राजभर के परिवार के लोग भूत-प्रेत करने के शक में रामबचन के परिवार से रंजिश रखते थे. बुधवार की शाम गंव में एक मांगलिक कार्यक्रम था. आरोप है कि बीतीरात लाठी-डंडों से लैस गंव ही दो दर्जन से ज्यादा लोगों ने मृतक रामबचन के घर पर हमला बोल दिया. दरवाजा-खिड़की तोड़कर घर में सो रहे रामबचन को दबंगो ने जमकर पीटा. शोरगुल सुनकर लोग इकट्ठा हो गए. आरोपियों ने उन्हें भी पीटा. वृद्ध पिता की बेरहमीपूर्वक पिटाई होता देख मृतक का बेटा अनिल जब बीच-बचाव करने पहुंचा तो दबंगों ने उसे भी लाठी-डंडों से पीटकर लहु लुहान कर दिया. घटना के बाद आनन-फानन में गंभीर रूप से घायल पिता-पुत्र को अस्पताल ले जाया गया. जहां पर पिता रामबचन को चिकित्सकों ने मृत घोषित कर दिया. हालांकि मृतक रामबचन के बेटे अनिल की हालत गंभीर बताई जा रही है. उसका जिला अस्पताल में इलाज चल रहा है. पुलिस मृतक के शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेजते हुए आवश्यक कार्रवाई में जुट गई है.
घटना के बाद 6 आरोपी गिरफ्तार
भूत-प्रेत के चक्कर मे वृद्ध की पीट-पीटकर हत्या के बाद इलाके में सनसनी फैल गई. पुलिस ने पीड़ित पक्ष की तहरीर के आधार पर 9 नामजद आरोपियों के खिलाफ गम्भीर धाराओं में केस दर्ज करते हुए 6 लोगों को गिरफ्तार कर लिया है. मृतक रामबचन के घायल बेटे अनिल ने बताया कि बुधवार की शाम गंव में एक मांगलिक कार्यक्रम था. आरोपी शराब के नशे में आये. उनका परिवार घर के अंदर सो रहा था. आरोपियों ने घर में घुसकर उनके वृद्ध पिता रामबचन को जमकर मारना पीटना शुरू कर दिया. बीच बचाव करने पर परिवार के अन्य लोगों को भी पीटा गया. पिटाई से अनिल भी लहूलुहान हो गया. इतना ही नहीं आरोप है कि घर के बाहर ले जाकर उनके पिता के कपड़े उतारकर आरोपियों द्वारा बेरहमीपूर्वक पिटाई की गई. गंव वाले तमाशबीन बनकर देखते रहे, किसी ने बीच-बचाव नहीं किया. घटना के एक घंटे बाद पुलिस पहुंची. दबंगो की पिटाई से उनके पिता की मौत हो गई.
राजभर बस्ती में रामबचन राजभर और नरेश राजभर का परिवार रहता है. दोनों लोगों को यह शक था कि किसी ने एक दूसरे के परिवार पर भूत-प्रेत कर दिया है. तभी उनके परिवार में पीड़ा और परेशानी पैदा हो रही है. बुधवार की रात्रि इसी बात को लेकर हुई कहासुनी में दोनों में मारपीट हुई. मारपीट में रामबचन गंभीर रूप से घायल हो गए. उन्हें इलाज के लिए अस्पताल ले जाया गया, जहां चिकित्सकों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया. घटना के बाद तहरीर के आधार के 9 नामजद लोगों के खिलाफ गंभीर धाराओं में केस दर्ज करके पुलिस द्वारा 6 आरोपियों को गिरफ्तार करके जेल भेजा जा रहा है. अन्य आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए पुलिस टीम दबिश से रही है.