उत्तर प्रदेश: नेपाल से भारत में तस्करी किए जा रहे टमाटर की जांच शुरू कर दी गई है। इसके पहले सीमा शुल्क अधिकारियों ने नेपाल से भारत में तस्करी किए जा रहे तीन टन टमाटर को उत्तर प्रदेश के महाराजगंज जिले का क्षेत्र.नौतनवा के पास पुलिस और सशस्त्र सीमा बल (एसएसबी) की संयुक्त टीम के सहयोग से पकड़ा था। सीमा शुल्क आयुक्त, लखनऊ, आरती सक्सेना ने संवाददाताओं को बताया कि सीमा क्षेत्र में तैनात छह विभाग के अधिकारियों को मुख्यालय से संबद्ध कर दिया गया है।
रिपोर्ट्स के मुताबिक, 7 जुलाई को जब्त किए जाने के बाद, लगभग 4.8 लाख रुपये की कीमत वाली खेप को नष्ट करने के लिए सीमा शुल्क अधिकारियों को सौंप दिया गया था। नियमानुसार जब्त की गई खराब होने वाली वस्तुओं को 24 घंटे के अंदर नष्ट कर देना चाहिए। हालांकि, यह आरोप लगाया गया है कि टमाटरों को सीमा शुल्क अधिकारियों द्वारा छोड़ दिया गया था, लेकिन एक बार फिर पुलिस ने उन्हें रोक लिया। बाद में लखनऊ मुख्यालय के कस्टम अधिकारियों को इसकी जानकारी दी गई।
एसएसबी के एक अधिकारी ने कहा कि मानक प्रथा के अनुसार, जो सामान नेपाल में निर्मित या तैयार नहीं किया जाता है, उसे भारत में अनुमति नहीं है। उन्होंने कहा, ''पहले हम चीनी सेब खूब पकड़ते थे।'' अधिकारी ने कहा कि खराब होने वाली वस्तुओं के मामले में, शुल्क का भुगतान करना होगा और ऐसी वस्तुओं को भारत में प्रवेश के लिए इसकी प्रमाणितप्रति प्रस्तुत करनी होगी। निचलौल के थाना प्रभारी आनंद कुमार गुप्ता ने कहा, ''बिना शुल्क चुकाए खरीदे जाने पर हम आभूषण, विदेशी मुद्रा, इलेक्ट्रॉनिक सामान जैसी वस्तुओं को जब्त कर सकते हैं।'' उन्होंने कहा कि सिगरेट और शराब को एनडीपीएस अधिनियम के तहत जब्त किया जाता है। सीमावर्ती क्षेत्रों में रहने वाले व्यापारी और निवासी दैनिक जरूरतों की वस्तुओं की खरीदारी के लिए सीमा पार दूसरी ओर आते-जाते हैं।
हालांकि, जिला अधिकारी वाणिज्यिक वस्तुओं की मात्रा को अधिकतम 25 हजार रुपये तक सीमित करते हैं। उत्तर प्रदेश में टमाटर 160 रुपये प्रति किलो बिक रहा है, जबकि नेपाल में इसकी कीमत लगभग 100 रुपये से 110नेपाली रुपये है, जो भारत में 62-69 रुपये के बराबर है।